48 साल बाद अस्पताल ने मां को दिया बच्चे का शव, पूरा माजरा जान बोलेंगे-ममता की हुई जीत

1975 में उसके बेटे की मौत हो गई, तब से लेकर अब तक वो अपने बेटे के शव की तलाश में रहीं। आखिकार एक मां अपने जिगर को सीने से लगाकर उसका अंतिम संस्कार कर सकती हैं।

रिलेशनशिप डेस्क. ऐसे ही नहीं कहते हैं कि मां जैसा कोई दूसरा नहीं है। भगवान से ऊपर इसका दर्जा होता है। अपनी ममता के आंचल से ना सिर्फ वो बच्चे की सुरक्षा करती है। बल्कि पूरी दुनिया से उसके लिए मुकाबला कर सकती हैं। ऐसी ही एक तस्वीर स्कॉटलैंड से सामने आई है। जहां पर एक मां अपने बेटे के शव के लिए 48 साल तक संघर्ष किया और अंत में उसे पा लिया। चलिए पूरी कहानी जानते हैं।

1975 में एक सप्ताह के बच्चे की हो गई थी मौत

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स्कॉटलैंड के एडिनबर्ग में रहने वाली 74 साल की लिडिया रीड (Lydia Reid) के बच्चे की मौत 1975 में रीसस रोग ( Rhesus disease) से हो गई थी। लिडिया का बच्चा जब एक सप्ताह का था तब वो इस रोग का शिकार हो गया। लिडिया ने बताया कि जब उसने अपने बेटे के मरने के कुछ दिन बाद अस्पताल से उसका शव मांग तो उसे एक अलग बच्चा दिखाया गया।उसने यह भी कहा कि उसकी इच्छा के विरुद्ध उसके बेटे के शव का पोस्टमॉर्टम किया गया था।

कब्र में नहीं मिला शव

अस्पताल प्रशासन ने उससे कहा कि बच्चे का शव दफना दिया गया है। जिसके बाद पीड़ित मां ने अदालत का दरवाजा खटखटाया। सितंबर 2017 में एक अदालत ने कब्र खोदने का आदेश दिया। जब खुदाई हुई तो उनके बच्चे का अवशेष दफनाने की जगह पर नहीं था।

मृतक बच्चे का अंग शोध के लिए निकाल लिया गया था

बाद में पता चला कि अस्पताल प्रशासन ने लिडिया के मृतक बच्चे के शव से अंगों को निकाल लिया था, शोध के लिए। उन्होंने बीबीसी को बताया कि अस्पताल ने अनुसंधान के लिए मृत बच्चों के शरीर के अंगों को अवैध रूप से बनाए रखा क्राउन ऑफिस ने अब अंगों और अन्य शरीर के अंगों को गैरी की मां को सौंपने की अनुमति दी है जो एडिनबर्ग रॉयल इन्फर्मरी में जमा थे।

कैंसर पीड़ित मां को मिला सुकून

लिडिया ने कहा,'मैं अपने बेटे को वापस पाने के लिए बेताब थी और अब मेरे पास है। मुझे कैसा महसूस हो रहा है इसे शब्दों में बयां करना बहुत मुश्किल है ... अब मैं मरने से पहले उसे दफन कर सकती हूं, मुझे बहुत राहत महसूस हो रही है।'

6,000 अंगों और ऊतकों रखा गया

बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, यह पाया गया कि 1970 और 2000 के बीच स्कॉटिश अस्पतालों ने लगभग 6,000 अंगों और ऊतकों को रखा था, जिनमें से कई बच्चों के थे। पीड़ित महिला जिसे बाउल कैंसर है एडिनबर्ग के वेस्टर्न जनरल अस्पताल में भर्ती है। पीड़ित महिला खुद कैंसर से पीड़ित हैं और अस्पताल में भर्ती हैं। उन्हें नहीं बता कि उनके बेटे गैरी के बाकी शरीर का क्या हुआ।

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