Madhya Pradesh nikay chunav अलीराजपुर में रहने वाले पूर्व सरपंच समरथ मोरया ने तीन शादियां की हैं। तीन पत्नियों में समरथ ने दो को पंचायत चुनाव जीता लिया है। तीसरी पत्नी को वह चुनाव नहीं लड़ा सका, इसका उसके अफसोस है।
भोपाल। मध्य प्रदेश के अलीराजपुर के रहने वाले पूर्व सरपंच समरथ मोरया काफी खुश हैं। समरथ की दो पत्नियां पंचायत चुनाव जीत गई हैं। हालांकि, उनको थोड़ा अफसोस है कि तीसरी पत्नी को चुनाव नहीं लड़ा सके। चुनावी नतीजे आने के बाद वह गांव-गांव घूमकर लोगों को धन्यवाद दे रहे हैं और मिठाइयां बांट रहे।
सार्वजनिक रूप से तीन-तीन शादियां एक साथ की
मध्य प्रदेश के अलीराजपुर जिले के रहने वाले समरथ मोरया 35 साल के हैं। वह नानपुर गांव के रहने वाले हैं। इस साल अप्रैल महीने में समरथ मोरया सुर्खियों में आया जब उसने भोपाल मुख्यालय से करीब 14 किलोमीटर दूर अलीराजपुर में 400 से अधिक लोगों की मौजूदगी में तीन युवतियों से शादी की। समरथ ने एक साथ सकरी (25), मेला (28) और नानी बाई (30) से शादी की थी।
एक ही छत के नीचे तीनों पत्नियों के साथ है रहते
समरथ मोरया अपनी तीन-तीन पत्नियों के साथ एक ही छत के नीचे रहते हैं। वह कहते हैं कि हम सभी किसी भी समारोह में एक साथ ही शामिल होते हैं। समरथ की तीन बेटियां और तीन बेटे हैं। वह कहते हैं कि 2003 में नानी बाई (शिक्षा विभाग में एक चपरासी), 2008 में मेला और 2017 में सकरी से शादी की थी। लेकिन एक समारोह में औपचारिक शादी इस साल 30 अप्रैल को हुई।
खुद सरपंच रहा है अब पत्नियों को बनवाया
समरथ मोरया, खुद अलीराजपुर जिले में सरपंच रह चुके हैं। इस बार अपनी दो पत्नियों को पंचायत चुनाव जीताने में सफल रहे। पत्नियों को चुनाव जीताने के बाद समरथ अपने विजयी सहयोगियों के साथ घर-घर जाकर मतदाताओं को शुक्रिया अदा कर रहे हैं।
तीसरी पत्नी को पंचायत चुनाव न लड़ा पाने का अफसोस
समरथ मोरया को अपनी तीसरी पत्नी को पंचायत चुनाव नहीं लड़ा पाने का अफसोस हो रहा है। हालांकि, वह यह भी कहते हैं कि तीसरी पत्नी को चुनाव लड़ाने पर उसको नौकरी से इस्तीफा देना पड़ता। समरथ की तीसरी पत्नी शिक्षा विभाग में चपरासी की नौकरी करती हैं और उनको इस्तीफा देना पड़ता।
क्यों तीन-तीन शादियां करने के बाद भी केस नहीं
वयोवृद्ध पत्रकार और स्थानीय आदिवासी संस्कृति विशेषज्ञ चंद्रभान सिंह भदौरिया ने कहा कि भिलाला जैसी जनजातियों के बीच बहुविवाह की मनाही नहीं हैं। समरथ भी भिलाला समाज से आता है। भदौरिया ने कहा कि उनकी शादियां हिंदू विवाह अधिनियम के अंतर्गत नहीं आती है।
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