एम्स में सांसदों के लिए जारी SOPs वापस, डॉक्टर्स ने VVIP कल्चर का किया था विरोध, मोदी के बयान का दे दिया हवाला

डायरेक्टर ने सांसदों के मेडिकल ट्रीटमेंट के लिए एसओपी जारी किया था। एसओपी के तहत एक सांसदों के चिकित्सीय देखभाल के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाएगा। एम्स में संसद सदस्यों के लिए ओपीडी, इमरजेंसी परामर्श और इनपेशेंट अस्पताल के लिए स्पेशल सुविधा दी जाएगी। 

Dheerendra Gopal | Published : Oct 21, 2022 3:09 PM IST / Updated: Oct 22 2022, 12:17 AM IST

AIIMS new SOP for Member of Parliaments: एम्स नई दिल्ली के डायरेक्टर ने सांसदों को स्पेशल सुविधा व प्रोटोकॉल वाला लेटर वापस ले लिया है। डॉक्टर्स के भारी विरोध के चलते एम्स डायरेक्टर ने अपना लेटर वापस कर लिया है। विभिन्न मेडिकल एसोसिएशन्स ने वीवीआईपी कल्चर का विरोध कर इसे आमजन के लिए असुविधा व पीड़ादायक बताया था। गुरुवार को ही डॉक्टर्स ने वीवीआईपी कल्चर का विरोध करते हुए कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी लगातार वीवीआईपी कल्चर का विरोध करते रहे हैं लेकिन दूसरी ओर एम्स नई दिल्ली के निदेशक का लेटर वीवीआईपी कल्चर को बढ़ावा देने वाला है।

क्या था एम्स के डायरेक्टर के लेटर में लिखा?

एम्स दिल्ली के निदेशक डॉ.एम.श्रीनिवास ने सांसदों को वीवीआईपी सुविधा देने वाले लेटर को वापस ले लिया है। एम्स डायरेक्टर ने सांसदों को स्पेशल प्रोटोकॉल देने के लिए एक आदेश जारी किया था। साथ ही इसके लिए एक नोडल अधिकारी भी तैनात किया गया था। डायरेक्टर ने सांसदों के मेडिकल ट्रीटमेंट के लिए एसओपी जारी किया था। एसओपी के तहत एक सांसदों के चिकित्सीय देखभाल के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाएगा। एम्स में संसद सदस्यों के लिए ओपीडी, इमरजेंसी परामर्श और इनपेशेंट अस्पताल के लिए स्पेशल सुविधा दी जाएगी। 

संसद सचिवालय से लेटर आने के बाद जारी किया गया था एसओपी

दरअसल, इस एसओपी के लिए लोकसभा के संयुक्त सचिव वाईएम कांडपाल ने एक लेटर लिखा था। इसके बाद एसओपी जारी किया गया। डॉ श्रीनिवास ने एसओपी जारी कर बताया था कि यदि संसद के किसी मौजूदा सदस्य को किसी सुपर-स्पेशियलिटी विभाग से ओपीडी परामर्श की आवश्यकता होती है तो लोकसभा/राज्यसभा सचिवालय या सांसद के निजी कर्मचारी, एम्स के ड्यूटी अधिकारी से संपर्क करेंगे। इसके बाद ड्यूटी अधिकारी, उनको तत्काल प्रभाव से स्पेशलिस्ट या सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टर से कंसल्ट कराएगा। एसओपी में वह ड्यूटी अधिकारी शामिल था जो अस्पताल प्रशासन का योग्य मेडिकल प्रोफेशनल है। वह 24 घंटे एम्स के कंट्रोल रूम में उपलब्ध रहेंगे। ड्यूटी अधिकारी ही नोडल अधिकारी होगा जो समन्वय और सुविधा के लिए जिम्मेदार होगा तथा सांसदों को आवश्यक सेवाएं उपलब्ध कराएगा।

डॉक्टर्स के विरोध के बाद वापस हुआ आदेश

एम्स दिल्ली में सांसदों को वीवीआईपी प्रोटोकॉल देने वाले लेटर पर फेडरेशन ऑफ रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (FORDA) और FAIMA ने विरोध दर्ज कराया था। फोर्डा ने एक ट्वीट में कहा कि हम वीआईपी संस्कृति की निंदा करते हैं। FAIMA ने एक ट्वीट में कहा कि एक तरफ हमारे पीएम नरेंद्र मोदी जी कहते हैं, 'भारत में कोई वीआईपी संस्कृति नहीं है', लेकिन दूसरी तरफ एम्स नई दिल्ली के निदेशक डॉ एम श्रीनिवास ने वीआईपी संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए एक पत्र जारी किया है। पढ़िए पूरी खबर...

यह भी पढ़ें:

यह 21वीं सदी है, धर्म के नाम पर हम कहां पहुंच गए हैं...सुप्रीम कोर्ट ने नफरती भाषणों के खिलाफ की सख्त टिप्पणी

यूके की 45 दिनों की PM लिज ट्रस के पेंशन की रकम जानकर रह जाएंगे दंग, कई कंपनियों के CEO का है इतना पेमेंट

Liz Truss resigned: अब दुनिया की निगाहें ऋषि सुनक पर...जानिए कैसे 45 दिनों में बदल गया पासा

आइए हम स्वच्छ हवा में सांस लें, मिठाई पर अपना पैसा खर्च करें...SC ने पटाखों पर प्रतिबंध हटाने से किया इनकार

Share this article
click me!