Russia Ukraine crisis: मकर राशि का शनि बनाता है युद्ध के योग, 1962 और 1992 में भी बने थे ऐसे हालात

Published : Feb 24, 2022, 03:03 PM ISTUpdated : Feb 28, 2022, 12:05 PM IST
Russia Ukraine crisis: मकर राशि का शनि बनाता है युद्ध के योग, 1962 और 1992 में भी बने थे ऐसे हालात

सार

जिस बात से दुनिया डर रही थी, आखिरकर वही बात हुई। रूस (Russia) ने यूक्रेन (Ukraine) के साथ जंग की शुरुआत कर दी है। गुरुवार सुबह 9 बजे (भारतीय समयानुसार) राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Russian President Vladimir Putin) के सैन्य कार्रवाई के ऐलान के 5 मिनट बाद यूक्रेन में धमाके सुनाई दिए।  

उज्जैन.  रूसी सेना के यूक्रेन की सीमा के घूसने के बाद लगातार दोनों देशों के बीच संघर्ष जारी है। इस बीच यूक्रेन ने दुनिया के सामने खुद को बचाने की गुहार लगाई है। ज्योतिषियों के अनुसार रूस और यूक्रेन के बीच शुरू जंग का एक कारण ग्रहों की युति भी है। श्री कल्लाजी वैदिक विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभागाध्यक्ष डॉ. मृत्युंजय तिवारी के अनुसार, इस समय मकर राशि में ग्रहों का अशुभ योग बन रहा है, जिसके कारण पूरी दुनिया में अराजकता का माहौल बनता दिखाई दे रहा है। आगे जानिए किन ग्रहों की युति के कारण ऐसा हो रहा है…


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मकर राशि में ग्रहों का योग
ज्योतिषियों के अनुसार, इस समय मकर राशि में शनि और बुध की युति बन रही है। 26 फरवरी को इस राशि में शनि का आगमन होगा। शनि और मंगल वैसे तो एक-दूसरे के प्रति समभाव रखते हैं यानी न तो वे एक-दूसरे के शत्रु हैं न ही मित्र, लेकिन इन दोनों ग्रहों का स्वभाव उग्र है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जब दो उग्र स्वभाव वाले ग्रह एक ही राशि में होते हैं युद्ध व देशों में तनाव जैसी स्थिति बनती है। इसके बाद 27 फरवरी को शुक्र भी इस राशि में प्रवेश करेगा और सबसे अंत में चंद्रमा। इस प्रकार एक ही राशि में 5 ग्रह होने से विश्व भर में इसका नकारात्मक प्रभाव देखने को मिलेगा। 

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जानिए और भी खास बातें…
- ज्योतिषाचार्य पं. द्विवेदी के अनुसार, सन 1962 हो या 1992-93 जब भी शनि का गोचर मकर राशि में होता है तो इसका असर पूरी दुनिया पर दिखाई देता है। बड़े रोग फैलते हैं, युद्ध होते हैं, अराजकता फैलती है और महंगाई भी आसमान छूने लगती है।
- मकर राशि में रहते हुए शनि भारत, रूस एवं अफगानिस्तान और उसके आसपास के क्षेत्रों में हमेशा युद्ध के हालात का निर्माण करता है। 1962 में भारत-चीन के मध्य युद्ध हुआ था। 1992 में अफगानिस्तान में गृह युद्ध के बाद तालिबान को कब्जा हुआ था और अब 2022 में 30 साल के अंतर पर शनि ने इन्हीं क्षेत्रों में युद्ध या हिंसा करवाई है। 
- पिछले 2 वर्षों से पूरे विश्व में अशांति, रोग एवं भारत-चीन के मध्य भी तनाव बढ़ा हुआ है। 2020 में तो भारत-चीन के मध्य विवाद में चलते कई सैनिक हताहत हुए थे, उस समय भी शनि मकर राशि में गोचर हो रहा था।
- शनि का मकर राशि में गोचर 28 अप्रैल 2022 तक रहेगा। तब तक पूरे विश्व में तनातनी का माहौल रहेंगा। हिंसा, रक्तपात, युद्ध, रोग आदि यह चलते रहने की संभावनाएं है। 
- शनि के साथ 27 फरवरी से मंगल का गोचर भी आरंभ हो जाएंगा जो और ज्यादा नुकसान दायक हो सकता हैं। मंहगाई के साथ, अराजकता, हिंसा, रक्तपात, प्राकृतिक आपदाएं बढ़ सकती हैं।
 

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