Exercise Kavach: चीन से विवाद के बीच अंडमान और निकोबार में अपनी ताकत दिखाएंगी तीनों सेनाएं

Published : Jan 22, 2021, 09:00 PM IST
Exercise Kavach: चीन से विवाद के बीच अंडमान और निकोबार में अपनी ताकत दिखाएंगी तीनों सेनाएं

सार

इंडियन आर्म्ड फोर्सेस की तीनों सेनाएं अगले हफ्ते अंडमान और निकोबार में एक बड़ा संयुक्त युद्धाभ्यास 'Exercise Kavach' करेंगी। यह युद्धाक्ष्यास तीनों सेनाओं की संयुक्त क्षमताओं और परिचालन तालमेल को और बढ़ाने के प्रयास में किया जा रहा है।

नई दिल्ली. इंडियन आर्म्ड फोर्सेस की तीनों सेनाएं अगले हफ्ते अंडमान और निकोबार में एक बड़ा संयुक्त युद्धाभ्यास 'Exercise Kavach' करेंगी। यह युद्धाक्ष्यास तीनों सेनाओं की संयुक्त क्षमताओं और परिचालन तालमेल को और बढ़ाने के प्रयास में किया जा रहा है। यह युद्धाभ्यास देश की एकमात्र संयुक्‍त बल कमान अंडमान एवं निकोबार कमान (एएनसी) के तहत भारतीय सेना, नौसेना, वायुसेना करेंगी। 

इस अभ्यास में नौसेना के विशेष बलों, पूर्व नौसेना कमान और एएनसी के आर्मर/मैकेनाइज्‍ड घटकों, नेवी के जहाजों, युद्धपोतों एएसडब्‍ल्‍यू कोर्वेटों और हेलिकॉप्‍टरों से लैस जहाज हिस्सा लेंगे। इसके अलावा भारतीय वायुसेना जगुआर मैरीटाइम स्‍ट्राइक और परिवहन विमानों से अपनी ताकत दिखाएगी। इस संयुक्त युद्धाभ्यास में भारतीय तटरक्षक भी शामिल होगा। 

तीनों सेनाएं करेंगी अभ्यास
इस अभ्‍यास में समुद्री निगरानी संसाधनों का इस्‍तेमाल में तालमेल कायम करना, हवा और समुद्री हमलों, वायु रक्षा, पनडुब्‍बी तथा लैंडिंग संचालनों के बीच समन्‍वय कायम करना शामिल है। इसमें तीनों सेनाओं के विभिन्‍न तकनीकी, इलेक्‍ट्रॉनिक तथा मानवीय इंटेलिजेंस सहित सतत संयुक्‍त इंटेलिजेंस निगरानी एवं सैनिक सर्वेक्षण (आईएसआर) अभ्‍यास का संचालन किया जाएगा। 

आईएसआर अभ्‍यास से अंतरिक्ष, वायु, भूमि एवं समुद्र आधारित संसाधनों/सेंसरों से प्राप्‍त इंटेलिजेंस की क्षमताओं को मान्‍यता मिलेगी और इनका विश्‍लेषण तथा साझेदारी करने से संचालन के विभिन्‍न चरणों में शीघ्र निर्णय कायम करने के लिए युद्ध मैदान में पारदर्शिता कायम होगी।

क्यों किया जा रहा है ये अभ्यास?
संयुक्‍त बल अंडमान सागर एवं बंगाल की खाड़ी में बहुक्षेत्रीय, उच्‍च मारक क्षमता और रक्षात्‍मक प्रणाली को कार्यान्वित करेगा और जलस्‍थली लैंडिंग, एयर लैंडिंग संचालन, हेलिकॉप्‍टर से सुसज्जित समुद्र से लेकर भूमि तक विशेष बलों के संचालन के कार्य को पूरा करेगा। तीनों सेनाओं के अभ्‍यास का लक्ष्‍य संयुक्‍त युद्धक क्षमताओं को बेहतर बनाना और संचालन संबंधी तालमेल बढ़ाने की दिशा में मानक संचालन प्रक्रिया तैयार करना है।

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