मोदी सरकार (Modi Cabinet) ने फैसला किया है कि 2023-24 के खरीफ सीजन (Kharif Season) के लिए किसानों की खाद सब्सिडी (Fertiliser Subsidy) पर 1.08 लाख करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे।
Modi Govt Fertiliser Subsidy. केंद्रीय फर्टिलाइजर मंत्री मनसुख मंडाविया ने बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक के बाद कहा कि उनकी सरकार खाद सब्सिडी पर 1 करोड़ 8 लाख करड़ रुपए खर्च करेगी। मंडाविया ने कहा कि 2023-24 के खरीफ सीजन के दौरान किसानों की खाद सब्सिडी पर यह राशि खर्च की जाएगी। साथ ही मिट्टी की सेहत को बरकरार रखने के लिए भी कदम उठाए जाएंगे।
मोदी कैबिनेट में हुआ फैसला
केंद्र की मोदी कैबिनेट ने फॉस्फेटिक और पोटैशिक फर्टिलाइजर के लिए करीब 38,000 करोड़ रुपए की सब्सिडी को मंजूरी दी है। साथ ही अप्रैल से लेकर सितंबर तक के खरीफ सीजन के लिए कुल 1.08 लाख करोड़ रुपए की सब्सिडी सरकार की तरफ से किसानों को दी जाएगी। इसमें यूरिया के लिए भी 70,000 करोड़ रुपए की सब्सिडी शामिल है। साथ ही खाद की कीमतों में एमआरपी में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। इस समय यूरिया की एक बोरी की कीमत 276 रुपए है जबकि फॉस्फेट की कीमत 1350 रुपए प्रति बैग है। इस सब्सिडी का फायदा करीब 12 करोड़ किसानों को मिलेगा।
पीएलआई पॉलिसी को मिली कैबिनेट मंजूरी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दूरदर्शी PLI पॉलिसी ने भारत के इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग को उत्प्रेरित करने का काम किया है। इसके साथ ही इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए ग्लोबल सप्लाई और वैल्यू चेन्स को बदलने और विस्तार करने में भारत को एक सीरियस प्लेयर के तौर पर भी लॉन्च किया है। स्मार्टफोन निर्माण के लिए तेजी से बढ़ते और दुनिया के दूसरे सबसे बड़े और भरोसेमंद आधार में सफलता हासिल करने के बाद, अब भारत के इलेक्ट्रॉनिक्स इको-सिस्टम को व्यापक और गहरा बनाने पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। मोदी कैबिनेट लगातार ऐसे फैसले कर रही है जिसका सीधा संबंध देश की आम जनता से है। फर्टिलाइजर सब्सिडी भी इन्हीं फैसलों में एक है., जो किसानों के हित को देखते हुए लागू की जा रही है।
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