मोदी सरनेम केस (Modi surname remark) में राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को सूरत कोर्ट से राहत नहीं मिली है। कोर्ट ने उनकी अर्जी खारिज कर दी है। अब राहुल गांधी को हाईकोर्ट जाना होगा।
अहमदाबाद। मोदी सरनेम केस (Modi surname remark) में कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को राहत नहीं मिली है। सूरत लोअर कोर्ट ने आपराधिक मानहानी के मामले में राहुल गांधी को दो साल जेल की सजा सुनाई थी। राहुल ने इस फैसले के खिलाफ अपर कोर्ट में अपील की थी। कोर्ट ने सिर्फ एक शब्द Dismiss कहकर राहुल गांधी की अर्जी खारिज कर दी। अब उनके पास हाईकोर्ट-सुप्रीम कोर्ट जाने का रास्ता बचा हुआ है। राहुल गांधी शुक्रवार को अहमदाबाद हाईकोर्ट में अपील करेंगे।
कोर्ट ने सुरक्षित रख लिया था फैसला
एडिशनल सेशन जज आरपी मोगेरा की कोर्ट में राहुल गांधी की अपील पर सुनवाई हुई। कोर्ट ने पिछले गुरुवार को अपना फैसला 20 अप्रैल के लिए सुरक्षित रख लिया था। राहुल गांधी ने कोर्ट से गुहार लगाई थी कि उनकी अपील लंबित रहने तक लोअर कोर्ट के आदेश पर रोक लगाई जाए। राहुल गांधी ने अपनी अपील में कहा था कि वह सांसद हैं इसके चलते ट्रायल कोर्ट ने उन्हें अधिकतम सजा दी है।
केरल के वायनाड से सांसद चुने गए थे राहुल गांधी
गौरतलब है कि राहुल गांधी केरल के वायनाड से 2019 के लोकसभा चुनाव में सांसद चुने गए थे। उन्होंने 2019 के चुनाव के दौरान कर्नाटक में मोदी सरनेम को लेकर बयान दिया था। 13 अप्रैल 2019 को कर्नाटक के कोलार में एक चुनावी रैली के दौरान राहुल गांधी ने कहा था, "इन सब चोरों के नाम मोदी कैसे हैं? नीरव मोदी, ललित मोदी, नरेंद्र मोदी। खोजने पर और भी बहुत सारे मोदी मिलेंगे।"
इसके चलते भाजपा सांसद पूर्णेश मोदी ने राहुल गांधी के खिलाफ केस दर्ज कराया था। इस मामले में सूरत मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेज कोर्ट ने राहुल को आईपीसी (Indian Penal Code) की धारा 499 और 500 के तहत 23 मार्च को दो साल जेल की सजा सुनाई थी। इसके चलते राहुल गांधी की संसद सदस्यता खत्म हो गई है। कोर्ट से राहत मिलने पर राहुल गांधी की सदस्यता बहाल होने का रास्ता खुल सकता था। राहुल ने इस फैसले के खिलाफ तीन अप्रैल को सेशन कोर्ट में अपील की थी।
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