टेरर फंडिंग केसः जम्मू-कश्मीर में NIA की आधा दर्जन जगहों पर छापामारी, अबतक पांच अरेस्ट

जम्मू कश्मीर प्रशासन ने आतकंवादी संगठनों के सहयोगी के रूप में कथित तौर पर काम करने को लेकर हिज्बुल मुजाहिदीन सरगना सैयद सलाहुद्दीन के दो बेटों और दो पुलिस कर्मियों सहित 11 सरकारी कर्मचारियों को बर्खास्त किया है।

Asianet News Hindi | Published : Jul 11, 2021 6:39 AM IST / Updated: Jul 11 2021, 01:37 PM IST

श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में एनआईए ने बड़ी कार्रवाई की है। कश्मीर में टेरर फंडिंग केस में एनआईए लगातार रेड कर रही है। एक दिन पहले कश्मीर में आतंकियों की मदद के आरोप में 11 सरकारी कर्मचारियों को बर्खास्त किया गया था। एनआईए ने आधा दर्जन से अधिक जगहों पर छापामारी करते हुए कम से कम छह लोगों को गिरफ्तार किया है। 
एनआईए सूत्रों के अनुसार अनंतनाग में चार जगहों तो श्रीनगर में एक जगह पर छापेमारी हो रही है। 

आतंकियों को फंडिंग के मामले में एनआईए को अहम सुराग

टेरर फंडिंग के मामले में एनआईए को महत्वपूर्ण सबूत हाथ लगे हैं। एक दिन पहले ही जम्मू कश्मीर प्रशासन ने आतकंवादी संगठनों के सहयोगी के रूप में कथित तौर पर काम करने को लेकर हिज्बुल मुजाहिदीन सरगना सैयद सलाहुद्दीन के दो बेटों और दो पुलिस कर्मियों सहित 11 सरकारी कर्मचारियों को बर्खास्त किया है।
अधिकारी ने बताया कि बर्खास्त किये गये कर्मचारी शिक्षा, पुलिस, कृषि, कौशल विकास, बिजली, स्वास्थ्य विभाग तथा एसकेआईएमएस (शेर ए कश्मीर इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज से थे। अधिकारियों ने बताया कि इन 11 कर्मचारियों में अनंतनाग से चार, बडगाम से तीन और बारामूला, श्रीनगर, पुलवामा तथा कुपवाड़ा से एक-एक हैं। उन्हें भारतीय संविधान के अनुच्छेद 311 के तहत बर्खास्त किया गया है। 

यह भी पढ़ें:

ट्वीटर ने विनय प्रकाश को बनाया रेजीडेंट ग्रीवांस अफसर

जापान के सहयोग से बनारस में बना रुद्राक्ष इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर, पीएम मोदी करेंगे 15 जुलाई को उद्घाटन

विश्व जनसंख्या दिवसः सीएम योगी आदित्यनाथ बोले-समाज में असमानता का मूल कारण बढ़ती जनसंख्या

जम्मू-कश्मीर में लश्कर-ए-तैयबा के तीन आतंकवादी मार गिराए गए, कई सालों से थे सक्रिय

यूं ही नहीं कहला रहे वॉरियर्सः नाव नही मिली तो पैदल ही नदी पार पहुंच गए वैक्सीन लगाने

Share this article
click me!