केंद्र सरकार ने मंगलवार को राज्यसभा में बताया कि देश के किसी भी राज्य या केंद्र शासित प्रदेश में कोरोना के दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की कमी से मौतों की रिपोर्ट नहीं है।
नई दिल्ली। केंद्र सरकार के राज्यसभा में लिखित बयान, ‘ऑक्सीजन की कमी से कोई नहीं मरा’, को लेकर विपक्ष ने आड़े हाथों लिया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने तंज कसते हुए ट्वीटर हैंडल से ट्वीट किया है कि ‘सिर्फ ऑक्सीजन की ही कमी नहीं थी। संवेदनशीलता व सत्य की भी भारी कमी-तब भी थी, आज भी है।’
उधर, राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि यह सभी जानते हैं कि ऑक्सीजन की कमी की वजह से कई अस्पतालों ने मरीजों को अपने यहां भर्ती तक करने से इनकार कर दिया था। कई कोरोना मरीजों की जान चली गई थ्ज्ञी। यह पहली सरकार है जो ना तो देखती है ना ही सुनती है। लोगों को इन्हें सबक सिखाना चाहिए।
केंद्र सरकार की ओर से स्वास्थ्य राज्यमंत्री ने दिया था बयान
मानसून सत्र के दौरान केंद्र सरकार ने मंगलवार को राज्यसभा में बताया कि देश के किसी भी राज्य या केंद्र शासित प्रदेश में कोरोना के दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की कमी से मौतों की रिपोर्ट नहीं है। केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री डॉ.भारती प्रवीण पवार ने बताया कि स्वास्थ्य राज्य का मसला है। राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों ने रेगुलर ही केंद्र को कोरोना के केस और मौतों का आंकड़ा शेयर किया है। कोरोना की दूसरी लहर के दौरान एक भी मौत ऑक्सीजन की कमी से नहीं हुई है।
राज्यसभा में कांग्रेस के एमपी केसी वेणुगोपाल ने सवाल पूछा था कि बड़ी संख्या में कोरोना दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की कमी से सड़कों और अस्पतालों में मरीज मरे हैं।
केंद्र सरकार के इस जवाब से नाराज कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने संबंधित मंत्री के खिलाफ विशेषाधिकार प्रस्ताव लाने की घोषणा की है। कांग्रेस का कहना है कि स्वास्थ्य राज्य मंत्री ने सदन को गुमराह किया है।
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