सूरत डायमंड एक्सचेंज को करीब 3400 करोड़ रुपये की लागत से 35.54 एकड़ जमीन पर बनाया गया है। यह हीरा कारोबार का सबसे बड़ा ठिकाना बनने जा रहा है।
Surat Diamond Trading market: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को सूरत में दुनिया के सबसे बड़े सूरत डायमंड एक्सचेंज का उद्घाटन किया। यह अंतरराष्ट्रीय हीरा और आभूषण कारोबार के लिए दुनिया का सबसे बड़ा और सबसे आधुनिक केंद्र होगा। सूरत डायमंड एक्सचेंज को करीब 3400 करोड़ रुपये की लागत से 35.54 एकड़ जमीन पर बनाया गया है। यह हीरा कारोबार का सबसे बड़ा ठिकाना बनने जा रहा है। इस केंद्र के बन जाने से हीरा व्यवसायियों को अब रोज ट्रेन से सूरत से मुंबई नहीं जाना होगा।
सूरज डायमंड बोर्स, कच्चे और पॉलिश किए गए हीरों के साथ-साथ आभूषणों के व्यापार का एक ग्लोबल सेंटर होगा। इंपोर्ट-एक्सपोर्ट के लिए एक्सचेंज में अत्याधुनिक 'कस्टम क्लियरेंस हाउस' भी यहां होगा। यह सेंटर रिटेल ज्वेलरी बिजनेस के लिए ज्वेलरी मॉल और अंतर्राष्ट्रीय बैंकिंग और सिक्योरिटी वाल्ट की सुविधा से सुसज्जित होगा।
पेंटागन से भी बड़ा है डायमंड बोर्स
सूरत डायमंड एक्सचेंज में 4500 ऑफिस हैं। यह डायमंड बोर्स, अमेरिका के पेंटागन बिल्डिंग से भी बड़ा है। सूरत डायमंड बोर्स, 15 मंजिल का होगा और 35 एकड़ में फैली है। इसमें 9 रेक्टेंगुलर शेप्स हैं। अधिकारियों ने बताया कि इस इमारत का क्षेत्रफल 6,20,000 वर्ग मीटर है। इसमें पार्किंग के लिए भी 20 लाख वर्ग फीट स्पेस बनाया गया है। इसको बनाने में चार साल लगे हैं। यह इंटरनेशनल डायमंड और ज्वेलरी बिजनेस का दुनिया का सबसे बड़ा और आधुनिक केंद्र होगा। हीरे की राजधानी के नाम से मशहूर सूरत में 90 प्रतिशत हीरे बनते हैं। सूरत डायमंड बोर्स लगभग 65 हजार हीरा विशेषज्ञों के लिए एक मंच बन जाएगा। इस केंद्र से हीरा कारोबार को एक छतरी के नीचे लाए जाने की प्रक्रिया शुरू की गई है।
इंटरनेशनल मानकों से किया गया है इमारत का निर्माण
इमारत का निर्माण अंतर्राष्ट्रीय मानकों के अनुसार मॉर्फोजेनेसिस द्वारा किया गया था। यह कंपनी भारत की है। सूरत का डायमंड एक्सचेंज सेंटर इजराइल के डायमंड सेंटर से भी बड़ा है। इजरायल के डायमंड सेंटर का एरिया फिलहाल 80 हजार वर्ग मीटर है। डायमंड सेंटर में केवल 1000 कार्यालय हैं जो इज़राइल को सर्विस देता है। लेकिन सूरत डायमंड एक्सचेंज में 4500 ऑफिस हैं।
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