राजस्थान पुलिस का कमाल: 2 घंटे में करोड़ों के मालिक को ढूंढ लाई, जिसकी जान की कीमत रखी थी 5 करोड़ रुपए

सालों तक आरोपियों को नहीं ढूंढने वाली राजस्थान पुलिस ने वह कारनामा कर दिखाया जिसकी सिर्फ कल्पना की जा सकती थी। आईटी कंपनी मालिक को पुलिस ने महज 2 घंटे में ही ढूंढ निकाला।  फिरौती के लिए बदमाशों ने अपहरण कर लिया था। बदमाशों को भी गिरफ्तार कर लिया। 

Arvind Raghuwanshi | Published : Sep 25, 2022 5:22 AM IST / Updated: Sep 25 2022, 10:55 AM IST

भीलवाड़ा. राजस्थान के भीलवाड़ा जिले में किडनैप हुए करोड़ों के आईटी कंपनी मालिक को पुलिस ने महज 2 घंटे में ही ढूंढ निकाला। किडनैपर्स ने आईटी कंपनी के मालिक के परिवार से 5 करोड़ की फिरौती मांगी थी जिसकी सूचना तुरंत परिजनों ने पुलिस को दी। जिसके बाद पुलिस ने शहर के 100 से ज्यादा सीसीटीवी फुटेज खंगाले और करीब 2 से 3 घंटे बाद ही पीड़ित सहित चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।

 बदमाशों ने किडनैप कर मांगी 5 करोड़ की फिरौती
दरअसल भीलवाड़ा के शास्त्री नगर के रहने वाले ललित कुमार जिनकी खुद की एक आईटी कंपनी है। सुबह शनिवार को अपने ऑफिस से घर पर खाना खाने के लिए जा रहे थे। इसी दौरान पहले तो बदमाशों नहीं उनकी बाइक को टक्कर मार दी। जिससे ललित की बाइक वहीं गिर गई और वह सड़क पर स्लिप हो गए। इसके बाद कार से करीब 5 बदमाश नीचे उतरे। जिन्होंने ललित को अपनी गाड़ी में बैठा लिया और ललित के पिता रमेश को फोन करके कहा कि 5 करोड रुपए की व्यवस्था कर लो वरना व्यक्ति को खो दोगे। रमेश ने जैसे ही बात  पुलिस को बताई। पुलिस ने तुरंत पीछा करना शुरू कर दिया।

पुलिस ने कई इलाकों में की करोड़पति को खोजने के लिए सर्च
पुलिस आईटी कंपनी के मालिक को जोड़ने के लिए लगातार भीलवाड़ा के अलग-अलग इलाकों में सर्च ऑपरेशन चलाती रही। इसके साथ ही कई जगह नाकाबंदी कर गाड़ियों की तलाश भी की गई। करीब 2 घंटे बाद पुलिस ने कादूकोट गांव के पास 3 बदमाशों को पकड़ लिया। जो एक ही गाड़ी में सवार थे। जबकि अन्य दो आरोपी अभी भी फरार है। भले ही इस मामले में पुलिस ने तुरंत अपनी तत्परता दिखाते हुए 2 घंटे में आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया हो। लेकिन प्रदेश में लगातार गुमशुदा हुए बच्चों के बारे में पुलिस कोई सुराग तक नहीं ढूंढ पाती है। जिसका सबसे बड़ा कारण है कि एक तो 24 घंटे बाद गुमशुदगी दर्ज होती है। इसके बाद पुलिस भी कोई विशेष रूचि नहीं दिखाती है। भीलवाड़ा में गिरफ्तारी के लिए माना जा रहा है कि पुलिस पर राजनीतिक जिसके कारण यह त्वरित कार्रवाई हुई।

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