राजस्थान के सीकर जिले में किठाना गांव में उत्सव का माहौल है, मंदिरों में पूजा-अर्चना शुरू हो गई है। हर तरफ पुलिस और आर्मी के जवान तैनात हैं। क्योंकि उपराष्ट्रपति बनने के बाद जगदीप धनखड़ आज पहली बार शेखावाटी पहुंचेंगे। जहां वह अपने पैतृक गांव भी जाएंगे।
सीकर. उपराष्ट्रपति बनने के बाद जगदीप धनखड़ आज पहली बार शेखावाटी पहुंचेंगे। यहां वे गांव झुंझुनूं के किठाना के मंदिरों के अलावा सालासर व खाटूश्यामजी मंदिर में पूजा- अर्चना करेंगे। उनके शेखावाटी दौरे को लेकर सरकार व प्रशासन से लेकर सेना तक अलर्ट मोड में हैं। पिछले करीब एक सप्ताह से शेखावाटी के विभिन्न क्षेत्रों में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाने के साथ उपराष्ट्रपति के हेलीकॉप्टर की लैंडिंग तक का अभ्यास किया जा रहा था।
गांव के मंदिर देवरों पर लगाएंगे धोक
उपराष्ट्रपति अब से कुछ देर में किठाना के सरकारी विद्यालय के खेल मैदान में बने हैलीपेड पर पहुंचेंगे। यहां से वे पहले जोडिय़ा बालाजी मंदिर में दर्शन कर आरती में हिस्सा लेंगे। 9.40 बजे अपने फ़ार्म हाऊस पर पहुंचेंगे। जहां 10.05 पर निकलकर ठाकुर जी मंदिर के लिए रवाना होंगे। 10 मिनट पूजा के बाद 10 बजकर 25 मिनट तक राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय के भवन निर्माण शिलान्यास कार्यक्रम में हिस्सा लेंगे। कार्यक्रम में 15 मिनट रुकने के बाद 10. 45 मिनट पर सुलताना रोड पर कार्यक्रम स्थल पर पहुंचेंगे। 10.50 बजे से 11 .20 तक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद 11 बजकर 30 मिनट पर हेलिकॉप्टर से सालासर के लिए रवाना होंगे। इसके बाद दोपहर करीब 2 बजे वे खाटूश्यामजी पहुंचेंगे।
अलर्ट मोड में शासन व प्रशासन
उपराष्ट्रपति के कार्यक्रम को लेकर शासन व प्रशासन अलर्ट मोड में है। पुलिस, खुफिया विभाग, प्रशासन व चिकित्सा विभाग चाक चोबंद है। उनके कार्यक्रम स्थलों पर बुधवार से ही पुलिस जाब्ता तैनात कर दिया गया। खाटूश्यामजी में पुलिस अधीक्षक कुंवर राष्ट्रदीप ने पुलिस अधिकारियों के साथ गाडिय़ों से रींगस रोड पर बनाए गए हेलीपैड से लेकर दांता रोड से श्याम मंदिर के रास्ते की ट्रायल कर सुरक्षा व्यवस्थाओं को देखा। इससे पहले सुबह जयपुर रेंज के आईजी उमेश चंद्र दत्ता, एडीशनल डीजीपी बीजू जॉर्ज जोसफ, कलक्टर डॉ.अमित यादव, जयपुर ग्रामीण के जेडीओ रतन सिंह राठौड़ आदि अधिकारियों ने हेलीपैड व दर्शन मार्ग सहित मंदिर परिसर का जायजा लिया।
बचपन से आस्थावान थे धनकड़
उपराष्ट्रपति धनखड़ बचपन से ही आस्थावान रहे हैं। गांव के पास ही जोडिय़ा में करीब तीन सौ साल पुराने मंदिर के प्रति उनमें विशेष आस्था थी। बचपन में वे प्रतिदिन इस मंदिर में धोक लगाने आते थे। विधायक, केंद्रीय मंत्री व राज्यपाल रहते भी उनका मंदिर में धोक लगाने का क्रम जारी रहा। ईश्वर में अपनी आस्था के चलते ही धनखड़ ने 15 साल पहले जीर्णशीर्ण हो चुके गांव के ठाकुर जी मंदिर का भी जीर्णोद्धार करवाया था।
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