राजस्थान वेदर अपडेटः अब टाइफून नोरू लाएगा बरसात, वियतनाम से बंगाल की खाड़ी में बनेगा निम्नदबाव क्षेत्र

राजस्थान में लगभग साफ हुए मौसम में अब फिर से खलल पड़ने वाली है। प्रदेश में टाइफून नोरू के कारण एक बार फिर से जोरदार बरसात होने की संभावना जताई जा रही है। इसको लेकर स्काईमेट वेदर रिपोर्ट के अनुसार टाईफून नोरू बंगाल की खाड़ी में निम्न दबाव बनाएगा जिससे बारिश की संभावना बन सकती है।

Sanjay Chaturvedi | Published : Sep 29, 2022 5:57 AM IST / Updated: Sep 29 2022, 11:40 AM IST

जयपुर. राजस्थान में मौसम लगभग साफ हो गया है। छिटपुट बरसात को छोड़कर पूरे प्रदेश में धूप खिल रही है। जिससे तापमान में भी हल्की बढ़ोत्तरी हुई है। पश्चिमी राजस्थान में तो तापमान 37 डिग्री तक पहुंच गया है। पर इस बीच प्रदेश में बरसात की गतिविधियां फिर से शुरू होने की संभावना बन गई है। जो टाइफून नोरू की वजह से होगी। इस संबंध में स्काईमेट वेदर रिपोर्ट व  मौसम वैज्ञानिकों ने संभावना जताई है। रिपोर्ट के अनुसार टाइफून नोरू से बंगाल की खाड़ी में निम्न दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है। जिसके असर  से देश के कई राज्यों सहित राजस्थान में भी बारिश की संभावना रहेगी। जिसका असर पूर्वी राजस्थान में ही ज्यादा दिखने की संभावना है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार प्रदेश में अक्टूबर महीने के पहले सप्ताह के मध्य में ये बारिश देखने को मिल सकती है।

ये कहती है रिपोर्ट
स्काई मेट वेदर रिपोर्ट के अनुसार उत्तरी पश्चिमी पैसिफिक में टाइफून नोरू वियतनाम पहुंच गया है। जो 175 किमी प्रति घंटे की तूफानी हवाओं के साथ आगे बढ़ा। जो गंभीर चक्रवाती तूफान के साथ 100 किमी प्रति घंटे से अधिक की तेज हवाओं के साथ बिगड़ सकता है। फिलीपींस से होता हुआ ये दक्षिण चीन सागर में फिर मजबूत होगा। मध्य वियतनाम, दक्षिणी लाओस और उत्तरी थाईलैंड को कवर करते हुए पूरे दक्षिण पूर्व एशिया का प्रभावित करेगा। 30 सितंबर को उत्तरी म्यांमार के ऊपर अराकान तट और मार्तबान की खाड़ी के पास पहुंचने पर निम्न दबाव के क्षेत्र में ये कमजोर हो जाएगा। इस तूफान की वजह से एक अक्टूबर को बंगाल की पूर्वी और पूर्वोत्तर खाड़ी के ऊपर एक चक्रवाती परिसंचरण उभरेगा। पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी पर पहले से मौजूद परिसंचरण कम हो जाएगा और एक व्यापक परिसंचरण बंगाल के पूर्व, मध्य और उत्तर-पश्चिम की खाड़ी के बड़े हिस्से को कवर करेगा। इससे एक कम दबाव का क्षेत्र विकसित होगा। जिसके असर से पूर्वी राजस्थान, उत्तरी मध्य प्रदेश, दिल्ली, पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में बारिश की पट्टी के विस्तार की संभावना है। 

फिलहाल बढ़ा पारा
फिलहाल प्रदेश में मानसूनी गतिविधियां कम होने से तापमान में बढ़ोत्तरी शुरू हो गई है। बुधवार को ही प्रदेश के पांच जिलों में तापमान 37 डिग्री से ज्यादा  दर्ज हुआ। जिनमें सबसे ज्यादा पारा बीकानेर में 37.6 डिग्री दर्ज हुआ। इसके बाद चूरू में 37.2, बीकानेर व नागौर में 37.3 तथा धौलपुर व टोंक में तापमान 37.1 डिग्री दर्ज हुआ। हालांकि मौमस विभाग के अनुसार तापमान असुविधाजन स्तर तक नहीं पहुंचेगा।

क्या है टाईफून नोरू
'टाइफून नोरू' बेहद शक्तिशाली चक्रवात है। इसमें तेज गर्म हवाए बाहर से अंदर की और आती है। यह अक्सर महासागरों में बनते है। इन तेज हवाओं के कारण जोरदार बारिश होती है, जिससे कि आम जन जीवन अस्त व्यस्त हो जाता है।  नोरू पहले ही फिलीपींस को तबाह कर चुका है। अंदाजा लगाया जा रहा है कि  ऐसे ही आगे बढ़ते हुए यह लैंडफॉल के बाद  अपनी ताकत खो देगा और वियतनाम, लाओस और कंबोडिया को पार कर जाएगा। 1 अक्टूबर शनिवार तक बंगाल की खाड़ी के ऊपर एक चक्रवात के रूप में बना रहेगा।

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