
भरतपुर (राजस्थान). नोएडा मैं ट्विन टावर को उड़ाने वाले अफसर को कलेक्टर सम्मानित करने की तैयारी कर रहे हैं। ट्विन टावर का कनेक्शन राजस्थान से जुड़ गया है। टावर को उड़ाने वाले इंजीनियर राजस्थान के भरतपुर जिले के रहने वाले है, उनका नाम आनंद है। वे भरतपुर के बयाना के मूल निवासी है और वर्तमान में डिमोलिशन कंपनी के मुख्य सलाहकार है।डिमोलिशन कंपनी वही है जिसे ट्विन टावर को उड़ाने का काम सौंपा गया था। आनंद का कहना है कि टावर को उड़ाने की बात जब कंपनी को पता चली या यूं कहें कि टावर को उड़ाने का काम जब कंपनी को मिला तो अफसर हैरान थे। वे इसलिए हैरान थे कि आसपास घनी आबादी है और इस बीच में यह टावर उड़ाया जाना है । टावर की जांच पड़ताल की तो पता चला कि यह एक्स्ट्रा मजबूती से बनाया गया है क्योंकि इसमें सरियों की जगह स्पेशल तरह की बॉल्स का भी इस्तेमाल किया गया है।
जानिए कैसे की थी ट्विन टावर को उड़ाने की तैयारी
आनंद का कहना था कि बिल्डिंग में करीब 10000 छेद किए गए थे और इनमें 3700 किलो से ज्यादा बारूद भरा गया था । एक भी वायर उन्हें अपने पाथ से अलग ना हो इसके लिए भी विशेष तैयारी की गई थी। आज जब टावर को उड़ाया गया तब तक भी मन में यही था कि कहीं कोई गड़बड़ ना हो जाए । लेकिन तकनीकी रूप से हम पूरी तरह साउंड थे और आखिर फिर वही हुआ जिसका सभी को इंतजार था । हजारों लोगों ने इसे कैमरे में कैद किया है। आनंद शर्मा का कहना है कि आबादी के बीच में स्थित किसी भवन को उड़ाना हमेशा से ही चैलेंज भरा रहा है । लेकिन धीरे-धीरे तकनीक बढ़ रही है ऐसे में सफलता का प्रतिशत भी लगातार बढ़ रहा है।
ट्विन टावर को गिराने वाले क्रू का भरतपुर कलेक्टर करेंगे सम्मान
डिमोलिशन कंपनी के लिए काम करने वाले आनंद शर्मा का कहना है कि कंपनी के पास और भी कई प्रोजेक्ट है लेकिन फिलहाल उनका खुलासा करना सही नहीं है। यह सही है कि लगातार तकनीक का इस्तेमाल काम को कम रिस्की करता जा रहा है। उल्लेखनीय है कि नोएडा के ट्विन टावर को गिराने के बाद अब वहां का प्रशासन उसका मलबा भी बेचने की तैयारी कर रही है । बताया जा रहा है कि यह मलबा करीब 15 से ₹180000000 में बेचा जाएगा। ट्विन टावर को गिराने वाले क्रू का कलेक्टर सम्मान करने की तैयारी कर रहे हैं।
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