दिल्ली से पहले राजस्थान में बड़ा धमाका: गहलोत गुट के MLA बोले-'हम सरकार गिराने को तैयार...सभी देंगे इस्तीफा'

दिल्ली के दस जनपथ में कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष चुनाव और राजस्थान सियासी घटनाक्रम को लेकर बैठक चल रही है। अशोक गहलोत भी सोनिया गांधी से मुलाकात करने पहुंचे हैं। वहीं इसी बीच गहलोत के विधायक गोविंद राम मेघवाल का बड़ा बयान सामने आया है। उन्होंने कहा-अगर मुख्यमंत्री बदला तो सभी एमएलए इस्तीफा दे देंगे। हम मध्यावधि चुनाव के लिए तैयार हैं।

Arvind Raghuwanshi | Published : Sep 29, 2022 8:57 AM IST / Updated: Sep 29 2022, 02:45 PM IST

जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट फिलहाल दोनों दिल्ली में है। दिल्ली में आज शाम तक आलाकमान इस बात पर फैसला कर सकता है कि कौन राष्ट्रीय अध्यक्ष होगा और राजस्थान का मुख्यमंत्री होगा। यह पद किसी एक को ही मिलते हैं या यह दोनों पद अलग-अलग व्यक्तियों को मिलते हैं ,यह तो आलाकमान ही तय करेगा । लेकिन राजस्थान में दिल्ली की राजनीति से पहले फिर से बवाल आ गया है।  राजस्थान में कई कांग्रेसी नेताओं ने आज सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने पर सामूहिक रुप से इस्तीफे देने और मध्यावधि चुनाव के लिए रहने की धमकी दी है । 

पायलट को अगर मुख्यमंत्री तो सरकार गिरा देंगे...
कैबिनेट मिनिस्टर गोविंद राम मेघवाल और आरटीडीसी के चेयरमैन धर्मेंद्र राठौड़ ने कुछ देर पहले जयपुर में मीडिया के सामने यह जानकारी दी है । मेघवाल ने कहा कि पायलट को अगर मुख्यमंत्री बना जाता है तो हम सभी विधायक इस्तीफा दे देंगे , सरकार गिर जाएगी और हम मध्यावधि चुनाव के लिए भी तैयार हैं। 

सचिन पायलट पर आरोपों का पिटारा खोला
 उधर आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेंद्र सिंह राठौर ने भी सचिन पायलट पर आरोपों का पिटारा खोल दिया।  उनका कहना था कि पायलट खेमे के विधायक वेद प्रकाश सोलंकी ने जिला प्रमुख के चुनाव में कांग्रेस के 2 वोट बीजेपी को डलवाने का षड्यंत्र रचा। इस बारे में धर्मेंद्र सिंह राठौड़ ने वेद प्रकाश सोलंकी और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया की मानसरोवर में मुलाकात के फुटेज भी मीडिया को दिखाएं।  उनका कहना था कि उन्होंने चाकसू में जिला परिषद के सदस्यों के वोट बीजेपी को डलवाए।  जिससे भाजपा के उम्मीदवार रमा चोपड़ा जिला प्रमुख बन गई । 

पायलट ने सरकार गिराने की कोशिश की फिर भी वह आलाकमान के इतने प्रिय 
राठौर ने यह भी कहा कि इस पूरे मामले की रिपोर्ट चुनाव के पर्यवेक्षक गोविंद मेघवाल ने राजस्थान प्रभारी आज माखन को भेजी ,लेकिन उन्होंने इस मामले पर कोई कार्रवाई नहीं की । राठौड़ और मेघवाल ने मानेसर में हुए बवाल का भी कच्चा चिट्ठा मीडिया के सामने रखा । उनका कहना था कि सचिन पायलट ने उस समय सरकार गिराने में कोई कमी नहीं छोड़ी थी ,लेकिन फिर भी वह आलाकमान के इतने प्रिय है पता नहीं क्यों ? गौरतलब है कि पायलट खेमे के विधायक चाकसू विधायक वेद प्रकाश सोलंकी ने कल रात को ही एक बयान देकर आरटीडीसी चेयरमैन धर्मेंद्र राठौड़ को बिना नाम लिए दलाल बताया था।

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