राजस्थान की बेटियों पर टिकी निगाहें, क्या पैरालंपिक में लहराएगा तिरंगा?

Published : Aug 30, 2024, 02:45 PM IST
Paris Paralympics 2024

सार

राजस्थान की दो बेटियां, मोना अग्रवाल और अवनी लखेरा, आज पेरिस पैरालंपिक 2024 में भारत का प्रतिनिधित्व कर रही हैं। अवनी पहले ही पैरालंपिक में पदक जीत चुकी हैं, जबकि मोना ने कम समय में प्रशिक्षण प्राप्त कर यह मुकाम हासिल किया है।

पेरिस पैरालंपिक 2024। पेरिस पैरालंपिक (Paris Paralympics 2024) 2024 में आज भारत के लिए बेहद महत्वपूर्ण दिन है, क्योंकि आज राजस्थान की दो बेटियां मोना अग्रवाल और अवनी लखेरा पर देश की एक 140 करोड़ लोगों की नजरें टिकी हुई है। पूरा देश गोल्ड की उम्मीद लगाए बैठा है। दोनों में से एक बेटी ने पहले भी देश की उम्मीदों पर खरा उतरते हुए पैरालिंपिक में गोल्ड दिला चुकी है। खास बात ये है कि दोनों ही खिलाड़ी राजधानी जयपुर की रहने वाली हैं।

अवनी लखेरा पैरालंपिक में जाना पहचाना नाम है। 2020 टोक्यो पैरालंपिक में अवनी गोल्ड और ब्रॉन्ज पर निशाना साध चुकी हैं। इसके बाद पैरा शूटिंग वर्ल्ड कप में गोल्ड मेडल जीता था। आज दोपहर में करीब सवा तीन बजे अवनी का मेन शूटिंग टूर्नामेंट हैं। अवनी आज हुए क्वालिफिकेशन राउंड में 625.8 पॉइंट के साथ दूसरे नंबर पर रहीं। वहीं, मोना अग्रवाल 623.1 पॉइंट के साथ 5वें स्थान पर रहीं। ये महिला 10 M एयर राइफल SH-1 टूर्नामेंट है और इस तरह से दोनों फाइनल में आ गई हैं।

दो बच्चों की मां है मोना अग्रवाल

मोना अग्रवाल की बात करें तो उन्होंने साल 2021 दिसंबर में ही शूटिंग शुरू की है और वे इतने कम समय में पैरालंपिक तक पहुंच गई हैं। वे 37 साल की हैं और दो बच्चों की मां हैं। उन्होंने विमेन्स 10 मीटर एयर राइफल SH-1 कैटेगरी में गोल्ड जीता था और 2024 पेरिस पैरालंपिक का टिकट हासिल किया था। इसी टूर्नामेंट में अवनी ने ब्रॉन्ज जीता था। मोना शूटिंग के अलावा पावर लिफ्टिंग और शॉटपुट में स्टेट लेवल तक खेल चुकी हैं। वे शूटिंग में कई इंटरनेशनल टूर्नामेंट उनके नाम हैं। जन्म के कुछ दिन बाद ही वे पोलियो की शिकार हो गई थीं।

ये भी पढ़ें: दोनों पैर बेकार, फिर भी ओलंपिक में दहाड़ रही राजस्थान की अवनी लेखरा

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