
रायपुर। नवा रायपुर स्थित ट्रिपल-आईटी (IIIT) में डिजिटल उत्पादकता संवर्धन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) एकीकरण विषय पर विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। यह कार्यक्रम राज्य सरकार की पहल पर मंत्रालय में पदस्थ अधिकारियों और कर्मचारियों को आईटी और एआई की नवीनतम तकनीकों और अनुप्रयोगों का प्रशिक्षण देने के लिए रखा गया है। इसका मुख्य उद्देश्य प्रशासनिक कार्यों की गति और दक्षता को बढ़ाना है।
प्रशिक्षण कार्यक्रम के मुख्य अतिथि सामान्य प्रशासन विभाग के सचिव श्री अविनाश चंपावत थे। विशिष्ट अतिथि के रूप में सुशासन एवं अभिसरण विभाग तथा मुख्यमंत्री के सचिव श्री राहुल भगत शामिल हुए। कार्यक्रम की अध्यक्षता ट्रिपल-आईटी के डायरेक्टर प्रोफेसर डॉ. ओपी व्यास ने की।
पहले दिन प्रतिभागियों को MS Word, Google Docs, Excel और Google Sheets के उन्नत फीचर्स के बारे में विस्तार से सिखाया गया। साथ ही, डेटा मॉडलिंग (Data Modeling) के प्रयोग का भी प्रशिक्षण दिया गया। इस सत्र का उद्देश्य प्रतिभागियों को आधुनिक तकनीकों का कुशल उपयोग करके उनके रोज़मर्रा के प्रशासनिक कार्यों में तेजी और सटीकता लाना था।
अपने उद्बोधन में सामान्य प्रशासन विभाग के सचिव श्री अविनाश चंपावत ने कहा कि कौशल उन्नयन एक सतत प्रक्रिया है, जिससे व्यक्तित्व और कार्यसंस्कृति दोनों निखरते हैं। उन्होंने एआई-आधारित प्रशिक्षण को कर्मचारियों की क्षमता वृद्धि में एक मील का पत्थर बताया और प्रतिभागियों से इसका पूरा लाभ उठाने की अपील की।
सुशासन एवं अभिसरण विभाग के सचिव श्री राहुल भगत ने कहा कि नागरिक-केंद्रित शासन को मजबूत बनाने में तकनीक की बड़ी भूमिका है। उन्होंने बताया कि सरकारी कार्यकुशलता को बढ़ाने में एआई टूल्स अहम योगदान देते हैं। उन्होंने ई-ऑफिस प्रणाली का उदाहरण देते हुए कहा कि तकनीक का प्रभावी उपयोग शासन को अधिक पारदर्शी और जवाबदेह बना सकता है।
ट्रिपल-आईटी के डायरेक्टर प्रो. डॉ. ओपी व्यास ने कहा कि एआई का उपयोग स्मार्ट तरीके से करने के लिए हमें जागरूक और सतर्क रहना होगा। उन्होंने समझाया कि एआई का व्यवहारिक (practical) उपयोग और निरंतर सीखने की आदत हमें इससे और अधिक फ्रेंडली बनाएगी। उन्होंने डेटा सुरक्षा पर जोर देते हुए कहा कि हमें संवेदनशील जानकारी एआई को नहीं देनी चाहिए, ताकि इसका दुरुपयोग सार्वजनिक डोमेन में न हो सके।
प्रो. के. जी. श्रीनिवास ने बताया- यह ट्रेनिंग हाई क्वालिटी और रिजल्ट ओरिएंटेड होगा। इस प्रशिक्षण के प्रथम चरण में सामान्य प्रशासन, गृह और अन्य विभागों के 100 से अधिक अधिकारी-कर्मचारी शामिल हुए। यह प्रशिक्षण 24 सितंबर से 25 अक्टूबर 2025 तक आयोजित किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा-
प्रशासनिक कार्यों की गति और पारदर्शिता बढ़ाने के लिए डिजिटल प्रोडक्टिविटी और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का समुचित उपयोग आज समय की सबसे बड़ी आवश्यकता है। शासन-प्रशासन को अधिक जवाबदेह और कुशल बनाने में एआई टूल्स और डिजिटल तकनीकें अभूतपूर्व सहायक सिद्ध होंगी। ऐसे प्रशिक्षण कार्यक्रम अधिकारियों-कर्मचारियों की कार्यक्षमता में गुणात्मक सुधार लाएंगे और नागरिक-केंद्रित शासन को नई मजबूती प्रदान करेंगे।"
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