फैमिली वैकेशन पर दिल्ली आई एक 35 वर्षीय टीचर साक्षी आहूजा की रविवार(25 जून) को रेलवे स्टेशन पर करंट लगने से हुई मौत का मामला सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बना हुआ है। लोग शॉक्ड हैं कि कैसे सड़क पर खड़ा एक खंभा मौत की वजह बन गया।
नई दिल्ली. फैमिली वैकेशन पर दिल्ली आई एक 35 वर्षीय टीचर साक्षी आहूजा की रविवार(25 जून) को रेलवे स्टेशन पर करंट लगने से हुई मौत का मामला सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बना हुआ है। लोग शॉक्ड हैं कि कैसे सड़क पर खड़ा एक खंभा मौत की वजह बन गया? टीचर उस जगह पर भरे बारिश के पानी से बचने बिजली के खंभे के सहारे खड़ी हुई थी, तभी उसे करंट लग गया।
दिल्ली में बारिश और बिजली करंट हादसे, टीचर साक्षी आहूजा की मौत का शॉकिंग केस
टीचर को खंभे से चिपकर छटपटाते देखकर वहां मौजूद ऑटो और कैब ड्राइवर उसे बचाने के लिए दौड़े, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। उसे बचाने के प्रयास में उसकी बहन को भी झटका लगा। हालांकि साक्षी आहूजा का 9 साल का बेटा और 7 साल की बेटी उनके बगल में खड़े थे, उन्हें लोगों ने खंभे से दूर करके बचा लिया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, साक्षी को जब करंट के झटके लग रहे थे, तब वे अपने बच्चों को दूर रखने के लिए चिल्लाती रहीं।
DCP (रेलवे) अपूर्व गुप्ता के अनुसार मशीनरी (287) से संबंधित लापरवाही और लापरवाह आचरण के कारण मौत के इस मामले में IPC की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
शुरुआती जानकारी के अनुसार, जब से गर्मी की छुट्टियां शुरू हुईं, साक्षी आहूजा के दोनों बच्चे बाहर घूमने जाने के लिए उतावले हो रहे थे। वे तब और उत्साहित हो उठे थे, जब उन्हें पता चला कि उनकी मां ने वंदे भारत एक्सप्रेस से चंडीगढ़ की यात्रा की योजना बनाई है।
दिल्ली स्टेशन साक्षी आहूजा करंट हादसा, पानी से फिसलने से बचने पकड़ा था खंभा
पूर्वी दिल्ली के प्रीत विहार के निवासी साक्षी आहूजा लक्ष्मी नगर के एक स्कूल में टीचर थीं। वे पार्टटाइम एक आर्किटेक्ट भी थीं। वह अपने परिवार के साथ चंडीगढ़ जाने के लिए वंदे भारत एक्सप्रेस पकड़ने के लिए सुबह करीब साढ़े पांच बजे स्टेशन पर आई थीं।
दिल्ली में बारिश के चलते रेलवे स्टेशन के बाहर जलभराव था। शायद पानी में फिसलने से बचने के लिए साक्षी ने खंभा पकड़ लिया और करंट की चपेट में आ गईं। हालांकि, उनके परिजनों का कहना है कि वो गड्ढे में चली गई थीं और बिजली की चपेट में आ गईं। घटना के समय साक्षी आहूजा के माता-पिता और भाई कार पार्क कर रहे थे, जबकि वह अपनी बहन और बच्चों के साथ प्लेटफॉर्म की ओर जा रही थी। जिस स्थान पर उन्हें करंट लगा, वह टैक्सियों के लिए पार्किंग स्थल है।
साक्षी के पिता लोकेश कुमार चोपड़ा ने कहा-हम छुट्टियां मनाने चंडीगढ़ जा रहे थे। मैं पार्किंग एरिया में था, जब मुझे खबर मिली कि मेरी बेटी की करंट लगने से मौत हो गई है। यह अधिकारियों की लापरवाही के कारण हुआ है।
पीड़िता के पति अंकित आहूजा ने कहा कि दुर्घटना के लिए कई विभाग जिम्मेदार हैं। वरिष्ठ अधिकारियों की ओर से लापरवाही हुई है। रेलवे विभाग के अधिकारी हमसे मिलने आए और हमें आश्वासन दिया कि जांच चल रही है।
पुलिस के अनुसार, उन्हें स्टेशन के एग्जिट-1 के पास पीजी साइड पर एक महिला को बिजली के खंभे से झटका लगने की सूचना मिली थी। प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि उन्होंने महिला की चीख सुनी और उसे गिरने से पहले खंभे से दूर जाने की कोशिश करते देखा। उनकी बहन माधवी चोपड़ा मदद के लिए चिल्लाईं और एक राहगीर ने पीसीआर को फोन किया।
दिल्ली रेलवे स्टेशन साक्षी आहूजा बिजली का करंट लगने का मामला, CCTV फुटेज मिला
साक्षी आहूजा के परिवार के सदस्यों ने दावा किया कि कुछ टैक्सी और ऑटो चालक मदद के लिए आने से पहले वह 20-25 मिनट तक जमीन पर लेटी रहीं। एक रिश्तेदार इंदु ने कहा, "टैक्सी और ऑटो चालकों ने उसके बच्चों को खींच लिया, जबकि माधवी कुछ नहीं कर पाई क्योंकि उसे भी बिजली का झटका लगा था। साक्षी को बचाने कुछ टैक्सी चालकों को भी करंट लगा। बाद में वे साक्षी को धक्का देने के लिए चादरें, तौलिये और लाठियां लेकर आए। उन्हें एक टैक्सी में अस्पताल ले जाया गया।
जांच में पता चला है कि घटनास्थल पर एक हाईमास्ट लाइट और दो साइनेज पोल की खुली वायरिंग है। नए में लगाए गए खंभों की वायरिंग भी इसी रास्ते से होती है। पुलिस को घटनास्थल से सीसीटीवी कैमरों की फुटेज मिली है।
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