केरल के मलप्पुरम जिले के तनूर इलाके में रविवार(7 मई) को थूवलथीरम समुद्र तट के पास करीब 40 यात्रियों को ले जा रही एक हाउसबोट के डूब जाने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 22 हो गई है। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं।
मलप्पुरम(Malappuram). केरल के मलप्पुरम जिले के तनूर इलाके में रविवार(7 मई) को थूवलथीरम समुद्र तट के पास करीब 40 यात्रियों को ले जा रही एक हाउसबोट के डूब जाने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 22 हो गई है। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। नाव पलटने के पीछे उस पर भारी भीड़ का चढ़ना माना जा रहा है।
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खेल मंत्री वी अब्दुर्रहीमन ने कहा कि विभिन्न अस्पतालों से मिली जानकारी के आधार पर 22 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है। अब्दुराहमान ने कहा कि गंभीर हालत में चार लोगों को कोट्टाकल अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सूत्रों के अनुसार, नाव को तट पर खींचकर बाहर लाया गया, अंदर से और शव निकले।
अब्दुररहमान ने कहा कि मरने वालों में ज्यादातर महिलाएं और बच्चे हैं, जो स्कूल की छुट्टियों के दौरान घूमने के लिए आए थे।
प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने मौतों पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने प्रत्येक पीड़ित के परिजनों को 2 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है।
पीएम मोदी के कार्यालय ने एक tweet किया-"केरल के मलप्पुरम में नाव दुर्घटना के कारण जानमाल के नुकसान से पीड़ित शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना। PMNRF (प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष) से 2 लाख रुपये की अनुग्रह राशि प्रत्येक के परिजनों को प्रदान की जाएगी।"
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी हादसे में लोगों की मौत पर शोक जताया। उन्होंने एक ट्वीट में कहा, “केरल के मलप्पुरम में एक हाउसबोट के डूबने की खबर से व्यथित हूं। उन सभी के प्रति मेरी हार्दिक संवेदनाएं जिन्होंने अपने प्रियजनों को खोया है, और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।”
उन्होंने कहा, "मैं कांग्रेस कार्यकर्ताओं से रेस्क्यू ऑपरेशन में अधिकारियों की मदद करने की अपील करता हूं।"
राज्य सरकार ने एक बयान में कहा कि दुर्घटना के बाद स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने स्थिति का आकलन करने के लिए इमरजेंसी बैठक बुलाई। बयान में कहा गया है कि जॉर्ज ने निर्देश दिया कि घायलों के लिए एक्सपर्ट ट्रीटमेंट सुनिश्चित किया जाए और पोस्टमार्टम की प्रक्रिया तेज की जाए, ताकि शवों को जल्द से जल्द परिजनों को सौंपा जा सके।
त्रिशूर और कोझीकोड जैसे जिलों से डॉक्टरों सहित पर्याप्त कर्मचारियों को लाकर पोस्टमॉर्टम तिरूर, थिरुरंगडी, पेरिंथलमन्ना अस्पतालों और मनचेरी मेडिकल कॉलेज में करने का इंतजाम किया गया।
मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने मौतों पर शोक व्यक्त करते हुए एक बयान जारी किया और जिला कलेक्टर को एक समन्वित इमरजेंसी रेस्क्यू ऑपरेशन चलाने का निर्देश दिया।
बयान में कहा गया है कि फायर और पुलिस यूनिट, राजस्व और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी और तनूर और तिरूर के स्थानीय निवासी रेस्क्यू ऑपरेशन में शामिल थे।
मुख्यमंत्री कार्यालय ने कहा कि विजयन सोमवार को घटनास्थल का दौरा करेंगे। बयान के अनुसार, सोमवार को आधिकारिक शोक का दिन घोषित किया गया है और पीड़ितों के सम्मान में सभी सरकारी कार्यक्रम स्थगित कर दिए गए हैं।
इससे पहले, इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (आईयूएमएल) के एक विधायक पीके कुन्हालीकुट्टी ने कहा कि रेस्क्यू ऑपरेशन जारी रहने के कारण मरने वालों की संख्या बढ़ने की उम्मीद है। पूर्व मंत्री ने कहा, “यह बहुत दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण घटना है।”
यहां तनूर के पास एक सरकारी अस्पताल में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि जहाज के डूबने के पीछे भीड़भाड़ का कारण माना जा रहा है। उन्होंने कहा कि नावों को शाम 6 बजे के बाद सवारी के लिए नहीं जाना चाहिए, लेकिन माना जा रहा है कि इस मामले में नियम का उल्लंघन किया गया।
पुलिस ने बताया कि यह घटना तनूर में थूवलथीरम बीच के मुहाने के पास शाम करीब 7 बजे हुई। बचाए गए लोगों को पास के निजी और सरकारी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। उन्होंने कहा कि दुर्घटना का सही कारण फिलहाल ज्ञात नहीं है।
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