MP News: भोपाल में 82 वर्षीय होम्योपैथिक डॉक्टर और उनकी 36 वर्षीय बेटी मृत पाए गए। मरने से पहले उन्होंने एक सुसाइड नोट लिखी, जिसमें उन्होंने अपनी आखिरी इच्छा जाहिर की है।
MP News: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। यहां 82 वर्षीय होम्योपैथिक डॉक्टर हरिकिशन शर्मा का शव फंदे पर लटका मिला, जबकि उनकी 36 वर्षीय बेटी चित्रा भी मृत अवस्था में पाई गई। भोपाल में रविवार को 82 वर्षीय होम्योपैथी डॉक्टर और उनकी 36 वर्षीय बेटी अपने घर में मृत पाए गए। पुलिस के अनुसार, एक सुसाइड नोट मिला है जिसमें उनके शवों को अध्ययन के लिए दान करने की अपील की गई है।
चार पन्नों के इस सुसाइड नोट में लिखा गया है कि वह अपनी पत्नी के निधन के बाद से गहरे दुख में थे, जबकि उनकी बेटी मां को खोने के बाद अवसाद में चली गई थी। वह पेशे से होम्योपैथिक डॉक्टर थी। पुलिस के मुताबिक, डॉ. शर्मा ने फांसी लगा ली, लेकिन उनकी बेटी चित्रा की मौत कैसे हुई, यह स्पष्ट नहीं है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।
सुसाइड नोट में डॉक्टर ने इच्छा जताई कि उनके शव एम्स भोपाल को दान कर दिए जाएं ताकि मेडिकल छात्र मानव अंगों का अध्ययन कर सकें। इसके अलावा उन्होंने सुसाइड नोट में लिखा कि साइड नोट में लिखा कि पत्नी के निधन के बाद वह टूट गए थे और इसी कारण उनकी तबीयत भी ठीक नहीं रहती थी। इसके अलावा अवसाद से जूझ रही बेटी की देखभाल करना उनके लिए कठिन होता जा रहा था।
पुलिस अधिकारी अवधेश सिंह तोमर ने बताया कि डॉक्टर शर्मा अपनी बेटी के भविष्य को लेकर काफी चिंतीत थे क्योंकि उनकी खुद की सेहत लगातार बिगड़ रही थी। शर्मा पहले ही अपने बेटे को वर्षों पहले खो चुके थे।
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कोविड-19 महामारी के दौरान पिता-पुत्री ने कड़ी मेहनत की और लोगों की सेवा की थी। मेडिकल इमरजेंसी के दौरान वे मरीजों और पुलिस की मदद के लिए हमेशा तत्पर रहते थे। घटना का खुलासा तब हुआ जब एक मरीज दवा लेने के लिए उनके घर पहुंचा, जहां शर्मा अपनी डिस्पेंसरी भी चलाते थे। आधे घंटे तक दरवाजा न खुलने पर मरीज ने पड़ोसियों को बुलाया। जब उन्होंने खिड़की से अंदर झांका तो डॉक्टर शर्मा को फांसी पर लटका देखा। इसके बाद इस घटना की जानकारी तुरंत पुलिस को दी गई।