कुछ तो शर्म करो: राजस्थान में 3 साल के बच्चे की तड़प-तड़पकर मौत, सरकार का बदला इस मासूम से लिया!

राजस्थान में निजी डॉक्टरों और अशोक गहलोत सरकार की जिद के कारण लोगों की मौत की वजह बनती जा रही है। 7 दिनों से राइट टू हेल्थ बिल के विरोध में प्रदेश भर के डॉक्टर हड़ताल पर बैठे हैं। इलाज नहीं मिलने से एक तीन साल के मासूम की मौत हो गई।

Arvind Raghuwanshi | Published : Mar 29, 2023 5:25 AM IST / Updated: Mar 29 2023, 11:34 AM IST

जयपुर. राजस्थान के जालोर जिले से एक की सनसनीखेज मामला सामने आया है। यहां डॉक्टरों की हड़ताल ने एक 3 साल के मासूम की जान ले ली है। परिजनों का आरोप है कि सरकारी हॉस्पिटल में मासूम को इलाज में देरी हुई जिसकी वजह से उसकी मौके पर मौत हो गई।

सरकार और डॉक्टरों की जिद ने ली मासूम की जान

आपको बता दें कि राजस्थान में पिछले करीब 7 दिनों से राइट टू हेल्थ बिल के विरोध में प्रदेश भर के प्राइवेट डॉक्टर हड़ताल पर बैठे हुए हैं। जिन्हें पिछले 3 दिनों से सरकारी डॉक्टर से ने भी समर्थन दिया हुआ है। जो रोज सुबह 9 से 11 बजे के बीच कार्य बहिष्कार करते हैं। आज राजस्थान के जालोर जिले के जनाना अस्पताल में भी कुछ ऐसा ही हुआ। सुबह 9 से 11 बजे के बीच सरकारी डॉक्टर्स कार्य बहिष्कार पर थे। इसी बीच ग्रामीण इलाके के 3 साल के मासूम दलपत को उसके परिजन इलाज के लिए हॉस्पिटल लेकर आए।

माता-पिता मासूम को गोद में लिए इधर से उधर भटकते रहे

परिजनों के मुताबिक दलपत को पिछले करीब 2 से 3 दिन से बुखार था। आज सुबह उसकी तबीयत ज्यादा खराब हुई तो पहले तो उसे प्राइवेट हॉस्पिटल लेकर आए जहां प्राइवेट हॉस्पिटल बंद होने के चलते उन्हें इलाज नहीं मिला इसके बाद जब जनाना हॉस्पिटल पहुंचे तो यहां डॉक्टर्स की हड़ताल के चलते उन्हें कई चक्कर काटने पड़े। जैसे ही 11 बजे के बाद एक डॉक्टर आया तो उसने दलपत को संभाग मुख्यालय के हॉस्पिटल ले जाने को कहा लेकिन इससे पहले ही मासूम की मौत हो गई।

सीकर में भी हो चुकी है 4 साल के बच्चे की मौत

इस तरह का यह पहला मामला नहीं है जब राजस्थान में डॉक्टरों की हड़ताल के चलते किसी मासूम की मौत हुई हो। इससे पहले सीकर के लक्ष्मणगढ़ में 4 साल के रोबिन की भी इसी तरह मौत हुई। उसके परिजनों के मुताबिक इलाज में देरी होने के चलते रोबिन की मौत हुई।

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