बिना पढ़ाई डिग्री चाहिए? लखनऊ का फर्जी डिग्री रैकेट ऐसे करता था खेल, PhD होल्डर निकला मास्टरमाइंड

Published : Dec 21, 2025, 06:58 PM IST
lucknow fake degree racket phd holder arrested

सार

लखनऊ में फर्जी डिग्री और मार्कशीट के काले कारोबार का बड़ा खुलासा हुआ है। PhD होल्डर सरगना समेत तीन आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं। यह अंतरराज्यीय गिरोह बीटेक, BCA, MCA जैसी फर्जी डिग्रियां लाखों रुपये में बेचता था।

लखनऊ। राजधानी लखनऊ में फर्जी डिग्री और मार्कशीट के काले कारोबार का सनसनीखेज खुलासा हुआ है। पुलिस ने एक अंतरराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश करते हुए सरगना समेत तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। हैरानी की बात यह है कि इस पूरे नेटवर्क को खुद एक PhD होल्डर चला रहा था, जो देशभर के युवाओं को बिना मेहनत डिग्री दिलाने का सपना दिखाकर लाखों रुपये ऐंठ रहा था।

25 से ज्यादा विश्वविद्यालयों की नकली डिग्रियां बेचता था गिरोह

डीसीपी पूर्वी शशांक सिंह ने रविवार को प्रेस वार्ता कर बताया कि यह गिरोह देश के 25 से अधिक विश्वविद्यालयों की फर्जी डिग्रियां और मार्कशीट तैयार कर रहा था। बीटेक, BCA, MCA जैसे कोर्स की नकली डिग्रियां 25 हजार रुपये से लेकर 4 लाख रुपये तक में बेची जाती थीं। इन डिग्रियों का इस्तेमाल मुख्य रूप से प्राइवेट नौकरियों में किया जाता था।

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गोमतीनगर से तीन आरोपी गिरफ्तार

पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर गोमतीनगर इलाके में छापेमारी कर गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया। आरोपियों की पहचान गिरोह के सरगना सतेंद्र (PhD होल्डर), अखिलेश और सौरभ के रूप में हुई है। जांच में सामने आया कि गिरोह गोमतीनगर स्थित एक प्रिंटिंग शॉप में फर्जी डिग्री और मार्कशीट छपवाता था।

कलिंगा, साबरमती समेत नामी यूनिवर्सिटी की नकली डिग्री

डीसीपी पूर्वी ने बताया कि आरोपी स्वामी विवेकानंद सुभारती, कलिंगा, साबरमती समेत कई नामी विश्वविद्यालयों की फर्जी डिग्रियां तैयार करते थे। छात्रों को बिना परीक्षा और मेहनत डिग्री दिलाने का झांसा देकर उनसे मोटी रकम वसूली जाती थी।

छापेमारी में 923 फर्जी मार्कशीट बरामद

पुलिस की कार्रवाई के दौरान बड़ी मात्रा में आपत्तिजनक सामग्री बरामद हुई है। इसमें

  • 923 फर्जी मार्कशीट
  • 15 फर्जी मुहरें
  • नीला इंक पैड
  • 2 लाख रुपये नकद
  • एक टाटा हैरियर कार
  • 6 लैपटॉप, 2 हार्डडिस्क, 1 प्रिंटर, 1 CPU
  • 15 मोबाइल फोन, 2 रजिस्टर, 5 चेकबुक/पासबुक शामिल हैं।

भोले-भाले छात्रों को बनाते थे शिकार

पूछताछ में आरोपियों ने कबूल किया कि वे भोले-भाले छात्रों को बिना मेहनत डिग्री दिलाने का लालच देकर ठगते थे। पुलिस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ गोमतीनगर थाने में धारा 319(2), 318(4), 338 और BNSS के तहत मामला दर्ज कर लिया है।

पूरे नेटवर्क की जांच में जुटी पुलिस

डीसीपी शशांक सिंह ने बताया कि यह गिरोह काफी बड़े स्तर पर काम कर रहा था और इसके तार अन्य राज्यों से भी जुड़े हो सकते हैं। पुलिस अब पूरे नेटवर्क को खंगालने में जुटी है और जल्द ही और गिरफ्तारियां होने की संभावना है।

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