महाकुंभ 2025 में एक ऐसा नाम उभरकर सामने आया है, जिसने श्रद्धालुओं के दिलों में अपनी अलग जगह बना ली है—पान वाले बाबा। जहां कुंभ नगरी में साधु-संतों की विविधता है, वहीं पान वाले बाबा ने अपनी अनोखी परंपरा और जीवनदायिनी सोच से सबको आकर्षित कर लिया है। उनके द्वारा प्रसाद के रूप में दिया जाने वाला पान का बीड़ा केवल स्वाद का विषय नहीं, बल्कि आयुर्वेदिक उपचार और सनातन संस्कृति का प्रतीक बन चुका है।