उत्तर प्रदेश में RO/ARO परीक्षा पर छात्रों का आंदोलन जारी, सरकार ने उच्चस्तरीय कमेटी बनाई। जानें क्या हैं छात्रों की मांगें और परीक्षा की नई तारीखों पर अपडेट।
प्रयागराज। यूपी के प्रयागराज में UPPSC कार्यालय के सामने प्रतियोगी छात्रों के विरोध प्रदर्शन के बीच उत्तर प्रदेश सरकार ने RO/ARO परीक्षा के लिए उच्चस्तरीय कमेटी गठित करने की घोषणा की है। हालांकि, छात्रों का आंदोलन अभी भी जारी है क्योंकि उनकी सभी मांगें पूरी नहीं हुई हैं।
योगी सरकार ने छात्रों की मांग पर ध्यान देते हुए PCS प्रारंभिक परीक्षा को पहले की तरह एक ही दिन और एक ही शिफ्ट में आयोजित करने का फैसला किया है। आयोग ने 5 नवंबर को दो शिफ्ट में परीक्षा आयोजित करने का निर्णय लिया था, लेकिन छात्रों के दबाव के कारण यह निर्णय वापस लेना पड़ा।
RO/ARO परीक्षा, जो 22 और 23 दिसंबर को होने वाली थी, फिलहाल स्थगित कर दी गई है। सरकार ने इसके लिए एक उच्चस्तरीय कमेटी बनाई है, लेकिन यह अभी स्पष्ट नहीं है कि परीक्षा एक शिफ्ट में होगी या दो शिफ्ट में। छात्रों का कहना है कि सरकार को तुरंत इस बारे में स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।
1. RO/ARO परीक्षा का नोटिफिकेशन जल्द से जल्द जारी किया जाए।
2. परीक्षा को स्थगित करने के बजाय नई तारीख की घोषणा हो।
3. परीक्षा प्रक्रिया पारदर्शी हो और पेपर लीक जैसी घटनाओं से बचा जाए।
इस आंदोलन में दो प्रमुख परीक्षाओं के छात्र शामिल हैं – PCS प्रारंभिक परीक्षा और RO/ARO परीक्षा। PCS परीक्षा की तारीख और शिफ्ट को लेकर सरकार ने छात्रों की मांगें मान ली हैं। लेकिन RO/ARO परीक्षा की स्थिति अब भी अस्पष्ट है। RO/ARO परीक्षा के लिए कुल 411 पद हैं, लेकिन इस परीक्षा में 10.76 लाख अभ्यर्थी शामिल होंगे। इससे प्रति पद के लिए 2618 उम्मीदवारों का मुकाबला होगा। इसके अलावा, पहले पेपर लीक की घटनाओं के कारण परीक्षा पर भरोसे का संकट है।
छात्रों का कहना है कि जब तक RO/ARO परीक्षा की तारीख और नोटिफिकेशन जारी नहीं होते, उनका प्रदर्शन जारी रहेगा। सरकार को इस मुद्दे पर तुरंत कदम उठाने की जरूरत है ताकि परीक्षा प्रक्रिया में पारदर्शिता बनी रहे।
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