यूपी में कूड़े से सबसे अधिक कमाई करने वाला नगर निगम बना गाजियाबाद, पायलट प्रोजेक्‍ट के रूप में किया गया शुरू

गाजियाबाद नगर निगम ने पायलट प्रोजेक्‍ट के रूप में  योजना की शुरुआत की। जिसके बाद से एक अलग ही पहचान बना ली है। राज्य में पहला नगर निगम है जिससे कूड़े से 22 लाख की कमाई हुई है। जो पूरी तरह से सफल रहा है। 

Asianet News Hindi | Published : May 30, 2022 10:41 AM IST

गाजियाबाद: उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद ने एक अलग ही जगह अपनी पहचान बना ली है। दरअसल गाजियाबाद नगर निगम कूड़े से सबसे अधिक कमाई वाला निगम बन गया है क्योंकि शहर के नगर निगम ने घरों से निकलने वाले कूड़े को बेचना शुरू किया। इससे निगम को 22 लाख रुपए की कमाई हुई है। इसकी शुरुआत पायलट प्रोजेक्ट के रूप में की गई, जो पूरी तरह से सफल रहा है। इसी वजह से तो राज्य में कूड़े से सबसे अधिक कमाई करना वाला निगम बना है।

सूखे कूड़े में ये समान होता है इकत्रित
पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत के बाद से गाजियाबाद नगर निगम को दोहरा लाभ हुआ। पहला तो कूड़े का निपटान शुरू हो गया है और दूसरा कमाई भी हो रही है। इसके बारे में गाजियाबाद नगर निगम के नगर आयुक्त महेंद्र सिंह तंवर के अनुसार पहले सूखे कूड़े को ऐसे ही दे दिया जाता था। लेकिन अब नियम में कुछ परिवर्तन करते हुए तीन महीने पहले पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत की जिसके तहत सूखे कूड़े के रूप में इकट्ठा होने वाली कांच की बोतल, एल्‍यूमिनियम के कैन, गत्ता और कई तरह की अन्य प्लास्टिक और पॉलीथिन समेत बड़ी मात्रा में कूड़ा एकत्र होता है।

हर महीने निकलता 750 मीट्रिक टन कूड़ा
नगर निगम के नगर आयुक्त आगे कहते है कि जिले में यह सूखा कूड़ा करीब 750 मीट्रिक टन हर महीने निकलता है। इसी को बेचकर 22 लाख रुपए प्रति माह की कमाई हो रही है। आगे कहते है कि शहरों में घरों से निकलने वाला कूड़ा निगम के लिए सरदर्द बना हुआ था क्योंकि इसे डंप करने की समस्या आ रही थी। लेकिन गाजियाबाद नगर निगम ने इस कूड़े का समाधान खोज लिया है। इसी कारणवश शहर में पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया, जिसके चलते निगम ने गीले कूड़े से खाद बनाना शुरू किया और सूखे कूड़े को बेचकर अब कमाई करना शुरू कर दिया है।

हर महीने कूड़े से कमाई बढ़ने की संभावना
शहर की नगर निगम के अनुसार हर महीने घरों से सूखे कूड़े के रूप में इकत्रित होने वाली कांच की बोतल, गत्ता, एल्यूमिनियम के कैन और कई तरह की अन्य प्लास्टिक और पॉलीथिन समेत 750 मीट्रिक टन कूड़ा निकलता है। इस प्रोजेक्ट के सफल होने के बाद अब नगर निगम ने इसे बाकायदा कंपनियों को टेंडर दिए जाने की योजना तैयार की है। कूड़े से हर महीने कमाई के लिए टेंडर छोड़ा जाएगा। इस प्रोजेक्ट के शुरू होने के बाद से कूड़े से कमाई और बढ़ने की संभावना है।

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