बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी की मुश्किलें एक बार फिर बढ़ती नजर आ रही है। दरअसल ईडी ने बैंक खातों को ट्रेस कर खुलासा किया है कि यह खाता दंपती का है। जांच में यह पुष्टि हुई है कि इसी खाते से लेनदेन किया जाता था।
जौलान: पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी की परेशानियां कम होने का नाम नहीं ले रहे बल्कि बढ़ती जा रही है। प्रवर्तन निदेशालय की शुरुआती जांच में पता चला है कि मुख्तार अंसारी ने अपने नेटवर्क के माध्यम से उरई में भी बेनामी संपत्ति अर्जित की है। इसके लिए विधायक ने विकास कंस्ट्रक्शन नाम से एक कंपनी भी बनाई। ईडी को सर्विलांस के माध्यम से दो बैंक अकाउंट का पता चला है। यह दोनों अकाउंट उरई के एक दंपति के हैं और इन्हीं खातों में मुख्तार अंसारी की रकम ट्रांसफर को लेकर पुष्टि हुई है।
स्थानीय पुलिस ने ईडी को दो बैंक खातों को लेकर किया सूचित
दरअसल दस साल पहले समाजवादी पार्टी के शासन काल में मुख्तार अंसारी के स्वजनों ने उरई में जमीन खरीदनी शुरू की थी। यहां के रगौली इलाके में करीब 14 एकड़ जमीन खरीदी गई थी लेकिन सरकार बदलने के बाद उसको बेज दिया गया। इसकी छानबीन प्रशासन कर रहा था मगर इसी बीच स्थानीय पुलिस ने ईडी को उन दो बैंक खातों के बारे में बताया, जिनका इस्तेमाल मुख्तार की मनी लॉन्ड्रिंग में किया गया है। पुलिस की जांच के दौरान दोनों बैंक खाते उरई के दंपती रीमा व सोहन नाम व्यक्ति के निकले हैं। इसी खाते में ही जमीन खरीदने के लिए मुख्तार अंसारी की रकम आई और फिर जमीन बिक जाने पर इन्हीं में जमा भी की गई।
दस साल से मुख्तार अंसारी की कंपनी शहर में है सक्रिय
फिलहाल खातों में कुल कितनी रकम ट्रांसफर हुई अभी यह सार्वजनिक नहीं किया गया है। इसके अलावा इतना जरूर बताया गया है कि यह मामला करोड़ों का है। ऐसा बताया जा रहा है कि दस साल से विकास कंस्ट्रक्शन नाम से मुख्तार अंसारी की कंपनी शहर में एक्टिव है। प्रवर्तन निदेशालय ने इसकी करीब 25 करोड़ कीमत की दो संपत्तियां को अटैच किया हैं। दूसरी ओर इस मामले के खुलासे के बाद कंपनी से जुड़े सदस्यों की जमीन के सौदों का ब्योरा रजिस्ट्री कार्यालय से निकाला जा रहा है। पूरे प्रकरण को लेकर पुलिस अधीक्षक रवि कुमार का कहना है कि जिन दो बैंक खातों का प्रयोग मुख्तार की रकम ट्रांसफर करने में किया गया था, उनका विवरण देने में ईडी की सहायता की गई है।