पीलीभीत से भाजपा सांसद वरुण गांधी किसानों के समर्थन में खुलकर बचाव कर रहे हैं। वे गन्ना किसानों को लेकर दो बार योगी सरकार को पत्र लिख चुके हैं। इसके अलावा, किसान आंदोलन को भी उन्होंने बचाव किया था। इसके बाद से माना जा रहा है कि वरुण कहीं अपनी ही पार्टी (भाजपा) से नाराज तो नहीं चल रहे हैं।
लखनऊ। लखीमपुर खीरी में हिंसा को लेकर सियासत गरम है। इस बीच, सुबह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर चर्चा में आए पीलीभीत से सांसद वरुण गांधी को लेकर फिर चौंकाने वाली खबर है। उनके ट्वीटर अकाउंट के बायो से ‘भाजपा’ शब्द हट गया है। सोमवार सुबह वरुण ने लखीमपुर खीरी हिंसा मामले की सीबीआई जांच कराने की मांग की थी और पीड़ितों के परिवारों को एक-एक करोड़ रुपए का मुआवजा देने की भी मांग की थी। इससे पहले उन्होंने सितंबर में किसान महापंचायत का बचाव किया था और केंद्र सरकार को किसानों के साथ फिर से बातचीत करने का सुझाव दिया था।
दरअसल, भाजपा सांसद वरुण गांधी किसानों के समर्थन में लगातार आवाज उठाते रहे हैं। इससे पहले वह किसान आंदोलन का खुलकर समर्थन कर चुके हैं। उन्होंने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर गन्ने का समर्थन मूल्य बढ़ाने की भी मांग की थी। जब यूपी सरकार ने गन्ने के मूल्य में 25 रुपए प्रति क्विंटल की वृद्धि कर 350 रुपए प्रति क्विंटल कर दिया था, तब वरुण गांधी ने दोबारा सीएम को पत्र लिखकर गन्ने का समर्थन मूल्य 400 रुपए प्रति क्विंटल करने की मांग की थी। सोमवार सुबह वरुण ने लखीमपुर खीरी में हुई हिंसा को लेकर सीएम योगी पत्र लिख दिया।
वरुण गांधी ने लखीमपुरी खीरी मामले की सीबीआई जांच की मांग की थी
उन्होंने पत्र में कहा- एक दिन पहले ही देश ने महात्मा गांधी का जन्मदिन मनाया और उसके दूसरे ही दिन किसानों के साथ इस तरह की बर्बरता की गई, इसे स्वीकार नहीं किया जा सकता। इस घटना की सीबीआई जांच कराई जाए। पीड़ित परिवारों को एक-एक करोड़ रुपए की सहायता दी जाए। किसान भी हमारे अपने भाई हैं और यदि वे अपनी कुछ मांगों को लेकर लोकतांत्रिक प्रक्रिया के अंतर्गत विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं तो उनका साथ दिया जाना चाहिए। उनकी बात सुनी जानी चाहिए और गांधीवादी तरीके से एक शांतिपूर्ण समाधान प्राप्त करने की कोशिश की जानी चाहिए।
आशा है आप दोषियों पर कार्रवाई करेंगे: वरुण
वरुण का कहना था कि यह घटना ऐसी है जिसके दोषियों को माफ नहीं किया जा सकता। इसलिए पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाने के लिए सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में घटना की सीबीआई जांच की जानी चाहिए और धारा 302 के तहत केस दायर कर दोषियों को कड़ी सजा दी जानी चाहिए। आशा है इस घटना की गंभीरता को देखते हुए आप मेरे निवेदन पर तत्काल कार्रवाई करने का कष्ट करेंगे।