पीएम मोदी ने किया महाराजा सुहेलदेव के स्मारक का शिलान्यास, बोले-इतिहास में असली नायकों को भुला दिया गया

बता दें कि महाराजा सुहेलदेव 11वीं सदी में श्रावस्ती के सम्राट थे। सुहेलदेव ने महमूद गजनवी के भांजे सालार मसूद को मारा था। राजभर और पासी जाति के लोग उन्हें अपना वंशज मानते हैं। इन जातियों का असर पूर्वांचल की कई सीटों पर है। 
 

Asianet News Hindi | Published : Feb 16, 2021 6:03 AM IST / Updated: Feb 16 2021, 11:54 AM IST

बहराइच (Uttar Pradesh)। यूपी सरकार पहली बार महाराजा सुहेलदेव की जयंती पर मंगलवार को उत्सव मना रही है। इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बहराइच जिले में महाराजा सुहेलदेव स्मारक का वर्चुअली आधारशिला रखी, जो 4.20 मीटर ऊंचा बनेगा। पीएम ने कार्यक्रम के दौरान विकास की 39 करोड़ की परियोजनाओं की सौगात भी दी। साथ ही कहा कि भारत का इतिहास वो नहीं है जो देश को गुलाम बनाने वालों और गुलामी की मानसिकता के साथ लिखने वालों ने लिखा, भारत का इतिहास वो भी है जो देश के सामान्य जन ने लिखा है। भारत के कई अनेक नायक-नायिकाओं को कभी इतिहास में जगह नहीं दी गई, जिन्हें कभी उनका सम्मान नहीं दिया गया उसे आज का भारत सुधार रहा है।

11वीं सदी में श्रावस्ती के सम्राट थे महाराजा सुहेलदेव
पीएम मोदी ने कहा कि महाराजा सुहेलदेव 11वीं सदी में श्रावस्ती के सम्राट थे। सुहेलदेव ने महमूद गजनवी के भांजे सालार मसूद को मारा था। राजभर और पासी जाति के लोग उन्हें अपना वंशज मानते हैं। इन जातियों का असर पूर्वांचल की कई सीटों पर है। नेताजी सुभाष चंद्र बोस आजाद हिंद भारत के पहले प्रधानमंत्री थे, आजाद हिंद फौज को कभी भी वैसा सम्मान नहीं दिया गया। देश की 500 से अधिक रियासतों को एक करने वाले सरदार वल्लभ भाई पटेल के साथ क्या हुआ, वो हर कोई जानता है। हमारी सरकार ने सरदार पटेल की सबसे ऊंची मूर्ति बनाई। 

नए कृषि कानून के जरिए छोटे को भी होगा लाभ
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि नए कृषि कानूनों के जरिए छोटे किसानों को लाभ होगा, साथ ही जगह-जगह से किसानों को लाभ होने भी लगा है। कृषि कानूनों को लेकर कई तरह का प्रचार किया गया, जिन्होंने विदेशी कंपनियों के रास्ते खोले वो देशी कंपनियों को डरा रहे हैं। अब किसान ही इनकी पोल खोलने में लगे हैं। यूपी सरकार ने गन्ना किसानों, चीनी मिलें से जुड़ी समस्याओं को दूर किया है।

 

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