भाजपा छोड़कर सपा में शामिल हुए स्वामी प्रसाद मौर्य ने नामांकन से पहले सीएम योगी पर जमकर हमलावर हुए। उन्होंने कहा कि योगी को सीएम का पद राष्ट्रीय नेताओं की कृपा से मिला है। वह दोबारा इस पद पर फिर नहीं आएंगे।
कुशीनगर: स्वामी प्रसाद मौर्य शुक्रवार 4 फरवरी को फाजिलनगर से नामांकन करेंगे। इससे पहले वह सीएम योगी आदित्यनाथ पर जमकर हमलावर दिखे। उन्होंने कहा कि योगी को राष्ट्रीय नेताओं की कृपा से सीएम पद मिला है। अब जिंदगी में वह कभी भी उस पद पर नहीं आएंगे।
आपको बता दें कि स्वामी प्रसाद मौर्य यूपी चुनाव 2022 अपनी पडरौना सीट से न लड़कर फाजिलनगर से लड़ रहे हैं। वह शुक्रवार 4 फरवरी को फाजिलनगर से नामांकन करेंगे। इससे पहले जब वह कुशीनगर पहुंचे तो उन्होंने सीएम योगी पर हमला बोला।
स्वामी प्रसाद मौर्य ने सीएम योगी को लेकर कहा कि वह वोटों के सौदागर हैं। योगी के अलोकतांत्रिक चेहरे को जनता ने देख लिया है। किसी की गर्मी उतारने की भाषा एक सीएम की नहीं हो सकती है। योगी आदित्यनाथ चुनाव नजदीक आने के साथ ही गुडें, मवाली की भाषा बोल रहे हैं।
'जनप्रतिनिधि की नहीं हो सकती है ऐसी भाषा'
स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि इस तरह की भाषा एक जनप्रतिनिधि नहीं बोल सकता है। योगी जी कहते हैं कि उन्हें क्षत्रिय होने पर गर्व है। जबकि योगी और मुख्यमंत्री दोनों की ही कोई जाति नहीं हो सकती है। योगी जी गोरखपुर जैसे सम्मानित पीठ के महंत हैं लेकिन वह एक तरफ राष्ट्रवाद तो दूसरी तरफ जातिवाद करते हैं। आलम यह है कि दलितों और पिछड़ों के आरक्षण की सीट को सामान्य को दे दिया गया है। यह वही हाल है कि अंधा बांटे रेवणी अपन अपन को देय।
फाजिलनगर का चुनावी इतिहास
बीजेपी के गंगा सिंह कुशवाहा फाजिलनगर से दो बार से विधायक हो रहे हैं। गंगा सिंह कुशवाहा ने साल 2017 के विधानसभा चुनाव में सपा के विश्वनाथ को 41,922 वोटों के बड़े अंतर से हराया था। उससे पहले 2012 के विधानसभा चुनाव में गंगा सिंह को बसपा के कलामुद्दीन से कड़ी टक्कर मिली थी। उस वक्त जीत का अंतर 5,500 वोटों से भी कम रहा। 2007 में यहां से सपा टिकट पर विश्वनाथ विधायक बने थे।
तीसरा विधानसभा फाजिलनगर से स्थानीय विधायक गंगा सिंह कुशवाहा का टिकट काट कर उनके बेटे सुरेंद्र कुशवाहा पर पार्टी ने दांव लगाया है। फाजिलनगर विधानसभा क्षेत्र कुशवाहा बाहुल्य क्षेत्र है। यहां लगभग 50 हजार कुशवाहा (कोइरी) वोटर हैं। पेशे से अध्यापक रहे गंगा सिंह कुशवाहा को बीजेपी ने 2012 और 2017 में उम्मीदवार बनाया था और दोनों बार विधायक चुने गए। विधायक गंगा सिंह के बेटे सुरेंद्र कुशवाहा की राजीनीति में यह पहली पारी है।
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