हरिद्वार में जेल के अंदर चल रही अनोखी पाठशाला, अक्षर ज्ञान के साथ ही कर रहे हैं योग

हरिद्वार की जेलों में इन दिनों कैदियों के द्वारा जेल के अंदर ही अक्षर ज्ञान लिया जा रहा है। इसे के साथ उन्हें रोजाना योग भी करवाया जा रहा है। जो कैदी पढ़े लिखे हैं उन्हें महापुरुषों की जीवनियां पढ़ाई जा रही है। 

Asianet News Hindi | Published : Jun 10, 2022 9:32 AM IST

हरिद्वार: स्कूलों में इन दिनों भले ही गर्मियों की छुट्टियां चल रही हों लेकिन जेल में सलाखों के पीछे पाठशाला लगातार जारी है। उत्तराखंड में प्रदेश की सबसे बड़ी हरिद्वार जेल में बंदी और कैदी अक्षर ज्ञान ले रहे हैं। इसी के साथ वह महापुरुषों की गाथाओं को पढ़कर सद्गुणों को आत्मसात भी कर रहे हैं। 

लाइब्रेरी में भी मौजूद है हजारों पुस्तकें 
ज्ञात हो कि देश की प्रथम महिला आइपीएश अधिकारी किरण बेदी ने विजन इंडिया फाउंडेशन के तहत और डीपीएस रानीपुर के सहयोग से जेल की लाइब्रेरी में एक हजार से ज्यादा पुस्तकें दी गई हैं। यहां निरक्षर बंदियों को साक्षर बनाने के साथ ही उन्हें निरोग रखने के लिए योग की शिक्षा भी दी जा रही है। आपको बता दें कि देशभर के कैदियों के कल्याण के लिए काम करने वाली किरण बेदी ने पिछले दिनों जिला कारागार का मुआयना किया था। इसी के साथ उन्होंने कैदियों की शिक्षा का बीड़ा भी उठाया था। 

Latest Videos

कैदियों को दी जा रही योग की कक्षाएं
कैदियों और बंदियों को शिक्षित करने की कड़ी में संस्था विजन इंडिया फाउंडेशन की निदेशक मोनिका धवन और डीपीएस रानीपुर के प्रधानाचार्य अनुपम जग्गा के द्वारा जिला जेल जाकर वरिष्ठ अधीक्षक मनोज कुमार आर्य को कैदियों के लिए किताबें और स्टेशनरी सौंपी गई थी। यह पहल वहां बंद लोगों के ज्ञानवर्धन और उनके आचरण में सुधार को लेकर की गई थी। इसके साथ ही वहां पर नियमित पाठशाला चल रही है और निरक्षर बंदी और कैदी को अक्षर ज्ञान भी करवाया जा रहा है। वहीं जो बंदी शिक्षित हैं वह लाइब्रेरी से किताबें पढ़कर महापुरुषों के जीवन से प्रेरणा ले रहे हैं। इसके साथ ही प्रतिदिन जेल में सुबह छह बजे से सात बजे तक योग सिखाया जा रहा है। इसमें सभी बंदी प्रतिभाक कर योग सीख रहे हैं। पतंजलि योगपीठ के प्रतिनिधि द्वारा कैदियों को योग की कक्षाएं दी जा रही है। 

बच्चों के बीच बढ़ रहा लोकप्रियता का ग्राफ, 'टाफी बाबा' के नाम से मशहूर हो रहे सीएम योगी

पति और बेटों ने मां को पीट-पीट कर उतारा मौत के घाट, प्रेमी की भी कर दी हत्या

बेटे की जिद के आगे झुक गया पिता, गेम खेलने के लिए कर्ज पर दिलाया 55 हजार का मोबाइल

Share this article
click me!

Latest Videos

इस्तीफा देने के बाद कहां रहेंगे केजरीवाल, नहीं है घऱ #Shorts
'क्या बेटा इतना बड़ा हो गया जो मां को आंख दिखाए' मोहन भागवत से Arvind Kejriwal ने पूछे 5 सॉलिड सवाल
Pitru Paksha 2024: पितृपक्ष में क्यों कराया जाता है कौवे को भोजन, क्या है महत्व
मुजफ्फरनगर में क्यों भिड़ गए योगी के 2 मंत्री, जमकर हुई तू-तू, मैं-मैं । Anil Kumar । Kapil Dev
Pitru Paksha 2024: बिना पैसा खर्च किए कैसे करें पितरों को खुश ?