भारत में इजरायल के राजदूत नाओर गिलोन ने इस संबंध में कहा कि आतंकी महिलाओं और बच्चों का इस्तेमाल हथियार की तरह कर रहे हैं। इसके चलते फुल अटैक करने में परेशानी हो रही है।
नई दिल्ली, तेल अवीव। फिलिस्तीनी आतंकी संगठन हमास और इजरायल के बीच जंग जारी है। इजरायल की तैयारी पूरे गाजा पट्टी पर कब्जा करने और हमास के आतंकियों को चुन-चुनकर मारने की है। इसके लिए एक लाख सैनिकों को मैदान में उतारा जाएगा। इस बीच हमास द्वारा बच्चों और महिलाओं को ह्यूमन शील्ड की तरह इस्तेमाल किए जाने से इजरायल को फुल अटैक करने में परेशानी हो रही है।
भारत में इजरायल के राजदूत नाओर गिलोन ने इस संबंध में कहा कि आतंकी महिलाओं और बच्चों का इस्तेमाल हथियार की तरह कर रहे हैं। वे इजरायली सेना के आगे इन्हें कर देते है, जिससे पूरी ताकत से लड़ाई नहीं हो पा रही है।
हम अपनी लड़ाई खुद लड़ेंगे
हमास के खिलाफ जंग में दुनिया से मदद के संबंध में गिलोन ने कहा कि इजरायल ने कभी किसी देश से नहीं कहा कि आएं और हमारे लिए लड़ें। हम नहीं चाहते कि उनका खून बहे। कुछ भारतीयों ने इजरायल के लिए लड़ने की बात की। हमने उनसे कहा कि बहुत-बहुत धन्यवाद। हम अपनी लड़ाई खुद लड़ेंगे। हम नहीं चाहते कि दूसरे लोग हमारी लड़ाई लड़ें। यह सच है कि अमेरिका से हमें मदद मिल रही है। उनसे हथियारों और अन्य सामान की सप्लाई मिल रही है। हमने कई हथियारों को मिलकर बनाया है। हम इस तरह के संघर्ष के लिए हथियार रखते हैं। हम नहीं चाहते कि कोई आए और हमारे लिए लड़े। हमारे पास इस लड़ाई को लड़ने की क्षमता है। इजरायल बहुत छोटा, लेकिन बहुत मजबूत देश है।
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इजरायली राजदूत ने कहा कि हथियारों का मुद्दा नहीं है। हम ऐसे आतंकियों का सामना कर रहे हैं जिनमें मानवता नहीं है। वे लड़ाई में महिलाओं और बच्चों को हथियार के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं। यह परेशानी है। मुद्दा इजरायल की क्षमता का नहीं है। हमास को अपने लोगों की चिंता नहीं है। उनके लिए महिलाएं और बच्चे हथियार हैं, जिनका इस्तेमाल इजरायल के खिलाफ किया जा रहा है।
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