सुप्रीम कोर्ट द्वारा इमरान खान को 48 घंटे के भीतर अविश्वास प्रस्ताव का सामना करने के आदेश के बाद शुक्रवार को उन्होंने राष्ट्र के नाम अपना संबोधन करते हुए सरकार गिराने के लिए साजिश का आरोप लगाया।
इस्लामाबाद। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran khan) ने शुक्रवार को अविश्वास प्रस्ताव (No confidence motion) का सामना करने के पहले देश को संबोधित किया। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट पर भी पाकिस्तान में हो रही साजिशों की अनदेखी का आरोप लगाया है। कहा राजनेताओं को भेड़ों की तरह खरीदा और बेचा जा रहा है। लेकिन सब अनदेखी हो रही है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले से निराश हूं। पाकिस्तान में लोकतंत्र का मजाक उड़ाया गया है। उन्होंने कहा कि मैं इस वक्त बेहद मायूस हैं। साजिश के खिलाफ आवाज नहीं उठाए जाने से निराश हूं। उन्होंने कहा कि जिंदा कौम हमेशा अपने देश के लिए खड़ी होती है। किसी की गुलामी नहीं करती है। इमरान ने आह्वान किया कि रविवार को लोग सड़कों पर उतरे और शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर विपक्ष के नापाक मंसूबों को नाकाम करे।
अमेरिका यहां अपना आदमी बैठाना चाहता
इमरान खान ने अमेरिका (Imran Khan allegation on America) पर भी बड़ा आरोप लगाया। कहा कि अमेरिका ने 22 करोड़ पाकिस्तानी जनता की तौहीन की है। वह मुझे हटाने में लगा हुआ है। उसने हमारे राजदूत को धमकाया। अमेरिका ने कहा कि इमरान को रूस नहीं जाना चाहिए था। विपक्षी दल अमेरिकी साजिश का हिस्सा हैं। बाहर से हुक्म आ रहा है और पूरी प्लानिंग से मुझे हटाने की साजिश हो रही है। इमरान खान ने सनसनीखेज दावा करते हुए कहा कि विदेशी ताकतें उनकी सरकार को गिराने की कोशिश कर रही हैं क्योंकि वे शीर्ष पर एक लचीला आदमी चाहते हैं, उन्होंने विपक्षी दलों पर कानूनी मामलों से बाहर निकलने और पैसा बनाने के लिए उनके साथ हाथ मिलाने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा, "हमें पता चला कि अमेरिकी राजनयिक हमारे लोगों से मिल रहे हैं। तब हमें पूरी योजना के बारे में पता चला।" उन्होंने कहा कि वह राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं के कारण सभी विवरण सार्वजनिक रूप से जारी करने के लिए स्वतंत्र नहीं हैं। इमरान ने कहा कि इस बार अगर अमेरिका सफल हो गया और देश में भ्रष्टाचारियों की सरकार बन गई तो हमेशा के लिए नजीर बन जाएगा। इसके बाद जो भी सत्ता में आएगा वह महाशक्तियों से डरेगा और उसकी गुलामी ही करेगा।
इमरान खान ने की भारत की तारीफ
इमरान खान ने अपने संबोधन में कहा कि हमारा पड़ोसी मुल्क भारत भी हमारे साथ आजाद हुआ। (Imran Khan praises India) उसको देखिए कितना खुद्दार देश है। किसी भी सुपर पॉवर की हिम्मत नहीं जो हमारे साथ हो रहा उसके साथ हो। इमरान ने कहा कि हमारी भारत के साथ कोई दुश्मनी नहीं है। यह बात दीगर है कि आरएसएस की आईडियोलॉजी की वजह से हमारी उससे नहीं बनती लेकिन उसको देखिए। उन्होंने कहा कि जबतक हमारी पॉलिसी जनता की बेहतरी के लिए नहीं होगी, कभी हम तरक्की नहीं कर सकते।
जबतक कोई कौम अपने मुल्क के साथ नहीं खड़ी होगी, हम तरक्की नहीं कर सकते
इमरान खान ने कहा कि हमारी विदेश नीति भी भारत की तरह बननी चाहिए। अमेरिका चाहता है कि हम उसके सामने भिखारी बने रहे। वह विपक्ष को प्लान के तहत लगाया है कि पाकिस्तान खुद्दार न बन सके। जबतक कोई कौम अपने मुल्क के साथ नहीं खड़ी होगी हम तरक्की नहीं कर सकते। इस देश के युवाओं को अब सोचना होगा। जनता को लोकतंत्र और संप्रभुता के बारे में सोचना होगा। कौम को अब खुद लोकतंत्र बचाने के लिए आगे आना होगा। उन्होंने कहा कि आज वह लोग हमारे खिलाफ खड़े हैं जो पहले खुद ही एक दूसरे को चोर कहते थे। अब क्या चोरी से बचने के लिए एक साथ आए हैं। उन्होंने कहा कि इनका मकसद देश की तरक्की नहीं है, इनको अपने करप्शन के केस को खत्म करवाना है और फिर देश को मिलकर लूटना है।
अगर जम्हूरियत के हिमायती हैं तो क्यों नहीं चुनाव को फेस करना चाहते
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने विपक्ष को ललकारते हुए कहा कि जब ये लोग सच्चे डेमोक्रेट्स हैं तो क्यों नहीं चुनाव का सामना करना चाहते हैं। चुनाव का ऐलान कराएं और चुनाव मैदान में आए। चुनाव लड़कर, सरकार बनाएं।
इमरान खान ने की कैबिनेट बैठक की अध्यक्षता
इमरान खान ने शुक्रवार को पाकिस्तान के संघीय मंत्रिमंडल की बैठक की अध्यक्षता की। इससे पहले पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट की पांच-न्यायाधीशों की पीठ द्वारा दिए गए फैसले पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए इमरान खान ने एक ट्वीट में कहा था कि वह "आखिरी गेंद तक लड़ेंगे"।
सुप्रीम कोर्ट ने पलट दिया था डिप्टी स्पीकर का फैसला
गुरुवार को पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने नेशनल असेंबली में विपक्षी दलों द्वारा इमरान खान सरकार के खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव को डिप्टी स्पीकर द्वारा खारिज करने के फैसले को पलट दिया था। कोर्ट ने राष्ट्रपति आरिफ अल्वी के उस फैसले को भी पलट दिया था, जिसमें प्रधानमंत्री की सिफारिश पर नेशनल असेंबली को भंग कर दिया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया था कि नेशनल असेंबली में इमरान खान 48 घंटों के भीतर बहुमत साबित करें और विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव का सामना करें।
यह भी पढ़ें:
मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद को पाकिस्तान की अदालत ने सुनाई 32 साल जेल की सजा