सार
आतंकी संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम(ULFA) ने असम के हेल्थ मिनिस्टर और भाजपा के दिग्गज नेता हेमंत बिश्व सरमा की हत्या की साजिश रच डाली। हालांकि पुलिस की सक्रियता से वो नाकाम कर दी गई।
गुवाहाटी, असम. यहां होने जा रहे विधानसभा चुनाव के बीच पुलिस ने आतंकी संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम(ULFA) की एक गहरी साजिश नाकाम कर दी। इस संगठन ने असम के हेल्थ मिनिस्टर और भाजपा के दिग्गज नेता हेमंत बिश्व सरमा की हत्या की साजिश रची थी। इस मामले में पुलिस ने ULFA से बातचीत का दवाब बनाने वाले गुट के उपाध्यक्ष प्रदीप गोगोई सहित 3 लोगों को अरेस्ट किया है।
जानें पूरा मामला...
गुवाहाटी के पुलिस कमिश्नर मुन्ना प्रसाद गुप्ता के मुताबिक, इस साजिश की खबर पुलिस को लग चुकी थी। इसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करके गोगोई समेत 3 आरोपी पकड़ लिए। इन्हें सोमवार देर रात पकड़ा गया था। पूछताछा के बाद इन्हें कोर्ट मे पेश किया गया, जहां से उन्हें 3 दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया।
सरकार पर प्रेशर डालता था गोगोई
प्रदीप गोगोई ULFA से सरकार की बातचीत का समर्थन करने वाले गुट का नेता है। यह संगठन 2011 से सरकार से लगाताार बातचीत कर रहा है। प्रदीप और उसके साथियों को गुवाहाटी के हांटीगांव से पकड़ा गया। पुलिस ने हत्या की साजिश का खुलासा फोन टेपिंग से किया है।
असम की 126 विधानसभा सीटों के लिए तीन चरणों में चुनाव होना है। पहले चरण के लिए 27 मार्च का वोटिंग होगी। इसमें 47 सीटें हैं। दूसरे चरण में 39 सीटों पर एक अप्रैल का वोट डाले जाएंगे। तीसरे और अंतिम चरण में 40 सीटों के लिए 6 अप्रैल को वोटिंग होगी। सभी की गिनती अन्य चार राज्यों-पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, केरल और पुडुचेरी के साथ 2 मई को होगी। असम में विधानसभा का कार्यकाल 31 मई को खत्म हो रहा है। 2016 में हुए चुनाव में भाजपा ने 15 साल से यहां सत्तारूढ़ कांग्रेस को शिकस्त दी थी। तब भाजपा को 86 सीटें मिली थीं।