सार
कोरोना महामारी से उद्योग जगत का हाल बुरा है। ज्यादातर कंपनियों को भारी घाटे का सामना करना पड़ रहा है। देश के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा की कई कंपनियां भी घाटे में हैं, लेकिन उन्होंने कहा है कि इस संकट के बीच भी भविष्य के लिए उम्मीद कम नहीं है।
बिजनेस डेस्क। कोरोना महामारी से उद्योग जगत का हाल बुरा है। ज्यादातर कंपनियों को भारी घाटे का सामना करना पड़ रहा है। देश के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा की कई कंपनियां भी घाटे में हैं, लेकिन उन्होंने कहा है कि इस संकट के बीच भी भविष्य के लिए उम्मीद कम नहीं है। सोशल मीडिया प्लेटफार्म इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट में रतन टाटा ने लिखा है कि कोरोना संकट के बीच उद्योग जगत नई तकनीक अपना कर बेहतर तरीके से उत्पादन को बढ़ा सकता है और आर्थिक संकट दूर करने में अपनी भूमिका निभा सकता है।
पहले भी आए हैं संकट
इंस्टाग्राम पर पोस्ट में रतन टाटा ने लिखा है कि पहले भी कई तरह के संकट आए हैं और उस दौरान आंत्रप्रेन्योर्स ने दूरदर्शिता दिखाते हुए कई ऐसी चीजें तैयार की हैं, जिनके बारे में पहले सोचा भी नहीं जा सकता था। उन्होंने कहा है कि कोरोना के इस संकट में कुछ नए विकल्प सामने आएंगे और कंपनियां उद्योग के संचालन के नए तरीके ढूंढ निकालेंगी।
कोरोना है बड़ा संकट
रतन टाटा ने कोरोना को बड़ा संकट बताते हुए लिखा है कि यह एक मुश्किल दौर है, लेकिन भविष्य को लेकर मेरी उम्मीद बनी हुई है। उन्होंने लिखा है कि उन्हें पूरा भरोसा है कि आंत्रप्रेन्योर्स इस संकट को देखते हुए कुछ ऐसे उपाय जरूर करेंगे, जिनसे भविष्य में हालात अच्छे होंगे। उन्होंने लिखा कि यह संकट उद्योग जगत को नई चीजें अपनाने और नए आविष्कारों के लिए प्रेरित करेगा।
फॉलोअर्स ने भी किए सकारात्मक कमेंट
रतन टाटा की इंस्टाग्राम पर किए गए इस पोस्ट पर उनके फॉलोअर्स ने भी सकारात्मक टिप्पणियां की हैं। एक यूजर ने कमेंट करते हुए लिखा कि इस पोस्ट की बहुत जरूरत थी और इससे आंत्रप्रेन्योर्स का भरोसा मजबूत होगा। रतन टाटा के नेतृत्व वाले टाटा ग्रुप ने कोरोना संकट की शुरुआत में ही पीएम केयर्स फंड में 1,500 करोड़ रुपए दिए थे और उस वक्त कहा था कि कोरोना का संकट बहुत बड़ी चुनौती है, जिससे सबों को मिल-जुल कर निपटना होगा।
घाटे में हैं टाटा की ये कंपनियां
बता दें कि कोरोना की वजह से लगे लॉकडाउन के चलते टाटा समूह की कई कंपनियां भारी घाटे में चल रही हैं। टाटा समूह की विस्तारा एयरलाइन्स, टाटा मोटर्स और इंडियन होटल्स को काफी नुकसान हुआ है। लॉकडाउन में हॉस्पिटैलिटी, ऑटो इंडस्ट्री और एविएशन का कारोबार ठप हो गया। घाटे से उबरने के लिए विस्तारा एयरलाइन्स, टाटा मोटर्स और इंडियन होटल्स के कर्मचारियों की सैलरी में कटौती भी की जा रही है।