सार
पंजाब में चुनाव की घोषणा होते ही ड्रग्स तस्करी के मामले भी बढ़ गए हैं। बॉर्डर के पास से लगातार कोशिश हो रही है कि तस्कर नशीले पदार्थ पंजाब में पहुंचा सके। आचार संहिता लागू होने के बाद से अभी तक पंजाब में 280 करोड़ रुपए की ड्रग्स जब्त की गई है।
चंडीगढ़, पंजाब में चुनाव की घोषणा होते ही ड्रग्स तस्करी के मामले भी बढ़ गए हैं। बॉर्डर के पास से लगातार कोशिश हो रही है कि तस्कर नशीले पदार्थ पंजाब में पहुंचा सके। आचार संहिता लागू होने के बाद से अभी तक पंजाब में 280 करोड़ रुपए की ड्रग्स जब्त की गई है।
दिन रात सर्च ऑपरेशन चला रहीं सुरक्षा एजेंसियां
पंजाब के मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) डॉ. एस.करुणा राजू ने बताया कि बॉर्डर एरिया की निगरानी के लिए सख्ती बरती जा रही है। राज्य पुलिस केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों के साथ मिल कर दिन रात सर्च ऑपरेशन चला रही है। इसके साथ ही सीमा पार लगातार नजर रखी जा रही है। यही वजह है कि इतनी बड़ी मात्रा में ड्रग्स जब्त की गई है। उन्होंने बताया कि नशे को लेकर टीमों को सतर्क कर रख है। हम आम लोगों से भी मदद ल रहे हैं। चुनाव अधिकारी ने बताया कि टीमों ने 22.34 करोड़ रुपये की 39.62 लाख लीटर शराब भी जब्त की है। 23.06 करोड़ रुपये की बेनामी नदगी भी जब्त की गई।
पंजाब के लोगों से आयोग ने की एक ही अपील
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि 1233 संवेदनशील स्थानों की पहचान की गई है। ऐसे 3198 लोगों को चिन्हित किया गया, जो गड़बड़ी कर सकते हैं। सुरक्षा की दृष्टि से 1593 व्यक्तियों को हिरासत में भी लिया गया है। राज्य भर में 19716 रोडब्लॉक बनाए गए हैं। जिससे सुरक्षा व्यवस्था को और ज्यादा कड़ा किया जा सके। उन्होंने आम लोगों से भी अपील की कि वह भी हालात पर नजर रखे। यदि किसी भी तरह की कोई संदिग्ध चीज, या व्यक्ति नजर आए तो उसकी जानकारी नजदीकी पुलिस में दे। इसके अलावा यह जानकारी चुनाव आयोग में भी दी जा सकती है।
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ऐसे लोगों के खिलाफ होगा तुरंत एक्शन
उन्होंने कहा जानकारी मिलते ही हमारी टीमों की ओर से तुरंत ही कार्यवाही की जाएगी। इसके अलावा यदि कोई भी व्यक्ति यदि वोट के लिए किसी भी तरह का लालच देता हो, या फिर डराता धमकाता हो तो उसकी भी जानकारी दें। जिससे ऐसे लोगों के खिलाफ तुरंत एक्शन लिया जा सके। चुनाव अधिकारी ने बताया कि निष्पक्ष चुनाव में आम आदमी की बड़ी भूमिका होती है। उनकी थोड़ी सी जागरूकता भी बड़ी मदद करती है। बस वह जानकारी चुनाव आयोग तक पहुंचा दें। बाकी की कार्यवाही चुनाव आयोग की ओर से की जाएगी। जानकारी देने वाले का नाम भी गुप्त रखा जाएगा। यह आश्वासन भी उन्होंने दिया है।