MalayalamNewsableKannadaKannadaPrabhaTeluguTamilBanglaHindiMarathiMyNation
  • Facebook
  • Twitter
  • whatsapp
  • YT video
  • insta
  • ताज़ा खबर
  • राष्ट्रीय
  • वेब स्टोरी
  • राज्य
  • मनोरंजन
  • लाइफस्टाइल
  • बिज़नेस
  • सरकारी योजनाएं
  • खेल
  • धर्म
  • ज्योतिष
  • फोटो
  • Home
  • National News
  • निर्भया केस; पटियाला कोर्ट ने तीसरी बार डेथ वारंट पर लगाई रोक, अब कल नहीं होगी फांसी

निर्भया केस; पटियाला कोर्ट ने तीसरी बार डेथ वारंट पर लगाई रोक, अब कल नहीं होगी फांसी

नई दिल्ली. निर्भया केस में पटियाला कोर्ट ने तीसरी बार डेथ वारंट पर रोक लगा दी। निर्भया के दोषियों को 3 मार्च को फांसी होनी थी। कोर्ट ने अपने अगले आदेश तक फांसी पर रोक लगाई है। इससे पहले पटियाला कोर्ट ने 22 जनवरी और 1 फरवरी के अपने डेथ वारंट पर रोक लगाई। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने दोषी पवन की क्यूरेटिव पिटीशन खारिज कर दी। इसके बाद राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के पास दया याचिका भेजी गई, यह भी खारिज हो गई। 

4 Min read
Asianet News Hindi
Published : Mar 02 2020, 01:38 PM IST| Updated : Mar 03 2020, 11:13 AM IST
Share this Photo Gallery
  • FB
  • TW
  • Linkdin
  • Whatsapp
  • GNFollow Us
114
राष्ट्रपति ने दोषी पवन गुप्ता की दया याचिका खारिज की।
214
3 मार्च को फांसी होगी?- पवन की दया याचिका तो खारिज हो गई है, लेकिन नियम के मुताबिक, दया याचिका खारिज होने के बाद भी दोषी को 14 दिन का वक्त दिया जाता है। ऐसे में अभी भी फांसी पर सस्पेंस बना हुआ है।
314
निर्भया के चारों दोषियों को तिहाड़ जेल के 3 नंबर की सेल में फांसी दी जाएगी। यहीं पर फांसी का डेमो किया जाएगा।
414
डेथ वॉरंट के मुताबिक दोषियों को 3 मार्च की सुबह 6 बजे फांसी दी जानी है। ऐसे में पवन जल्लाद तिहाड़ जेल पहुंच चुका है।
514
निर्भया की वकील ने कहा था- न्याय दिलाकर ही रहूंगी : निर्भया के वकील सीमा ने फैसले के एक दिन पहले ट्वीट किया था, वादा है मेरा एक मां से कि उनकी बेटी निर्भया को न्याय दिलाकर ही रहूंगी। इस देश की आधी आबादी को भी जीने का अधिकार है। हम बेटियों के भी मानवाधिकार हैं। हक हमारा भी इस देश में स्वतंत्रता पूर्वक जीने का।
614
"हम हार नहीं मानेंगे" : सुप्रीम कोर्ट से निर्भया के दोषी पवन की क्यूरेटिव याचिका खारिज होने के बाद दोषी पवन के वकील एपी सिंह ने कहा, हम इस मामले में व्यापक और तुलनात्मक याचिका भी दाखिल करेंगे। हम हार नहीं मानेंगे।
714
निर्भया के चारों दोषी दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद हैं।
814
3 बार जारी हो चुका है डेथ वॉरंट- निर्भया के चारों दोषियों को फांसी देने के लिए 3 बार डेथ वॉरंट जारी हो चुका है। पहला डेथ वॉरंट 7 जनवरी को जारी हुआ, जिसके मुताबिक 22 जनवरी को सुबह 7 बजे फांसी देने का आदेश दिया गया। इसके बाद दूसरा डेथ वॉरंट 17 जनवरी को जारी हुआ, दूसरे डेथ वॉरंट के मुताबिक, 1 फरवरी को सुबह 6 बजे फांसी देना का आदेश था। फिर 31 जनवरी को कोर्ट ने अनिश्चितकाल के लिए फांसी टाली दी। तीसरा डेथ वॉरंट 17 फरवरी को जारी हुआ। इसके मुताबिक 3 मार्च को सुबह 6 बजे फांसी का आदेश दिया गया।
914
मेरी बच्ची की क्या गलती थी?- निर्भया के दोषियों की फांसी में हो रही देरी पर उसकी आशा देवी ने कहा था, मैं 7 साल 3 महीने से संघर्ष कर रही हूं। वो कहते हैं हमें माफ कर दो। कोई कहता है कि मेरे पति,बच्चे की क्या गलती है। मैं कहती हूं कि मेरी बच्ची की क्या गलती थी?
1014
दोषी मुकेश सिंह - निर्भया से गैंगरेप का दोषी मुकेश बस क्लीनर का काम करता था। जिस रात गैंगरेप की यह घटना हुई थी उस वक्त मुकेश सिंह बस में ही सवार था। गैंगरेप के बाद मुकेश ने निर्भया और उसके दोस्त को बुरी तरह पीटा था।
1114
दोषी अक्षय ठाकुर- यह बिहार का रहने वाला है। इसने अपनी पढ़ाई बीच में ही छोड़ दी और दिल्ली चला आया। शादी के बाद ही 2011 में दिल्ली आया था। यहां वह राम सिंह से मिला। घर पर इस पत्नी और एक बच्चा है।
1214
दोषी पवन गुप्ता- पवन दिल्ली में फल बेंचने का काम करता था। वारदात वाली रात वह बस में मौजूद था। पवन जेल में रहकर ग्रेजुएशन की पढ़ाई कर रहा है।
1314
दोषी विनय शर्मा- निर्भया का दोषी विनय जिम ट्रेनर का काम करता था। वारदात वाली रात विनय बस चला रहा था। इसने पिछले साल जेल के अंदर आत्‍महत्‍या की कोशिश की थी लेकिन बच गया।
1414
क्या है निर्भया गैंगरेप और हत्याकांड?- दक्षिणी दिल्ली के मुनिरका बस स्टॉप पर 16-17 दिसंबर 2012 की रात पैरामेडिकल की छात्रा अपने दोस्त को साथ एक प्राइवेट बस में चढ़ी। उस वक्त पहले से ही ड्राइवर सहित 6 लोग बस में सवार थे। किसी बात पर छात्रा के दोस्त और बस के स्टाफ से विवाद हुआ, जिसके बाद चलती बस में छात्रा से गैंगरेप किया गया। लोहे की रॉड से क्रूरता की सारी हदें पार कर दी गईं। छात्रा के दोस्त को भी बेरहमी से पीटा गया। बलात्कारियों ने दोनों को महिपालपुर में सड़क किनारे फेंक दिया गया। पीड़िता का इलाज पहले सफदरजंग अस्पताल में चला, सुधार न होने पर सिंगापुर भेजा गया। घटना के 13वें दिन 29 दिसंबर 2012 को सिंगापुर के माउंट एलिजाबेथ अस्पताल में छात्रा की मौत हो गई।

About the Author

AN
Asianet News Hindi
एशियानेट न्यूज़ हिंदी डेस्क भारतीय पत्रकारिता का एक विश्वसनीय नाम है, जो समय पर, सटीक और प्रभावशाली खबरें प्रदान करता है। हमारी टीम क्षेत्रीय, राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय घटनाओं पर गहरी पकड़ के साथ हर विषय पर प्रामाणिक जानकारी देने के लिए समर्पित है।

Latest Videos
Recommended Stories
Related Stories
Asianet
Follow us on
  • Facebook
  • Twitter
  • whatsapp
  • YT video
  • insta
  • Download on Android
  • Download on IOS
  • About Website
  • Terms of Use
  • Privacy Policy
  • CSAM Policy
  • Complaint Redressal - Website
  • Compliance Report Digital
  • Investors
© Copyright 2025 Asianxt Digital Technologies Private Limited (Formerly known as Asianet News Media & Entertainment Private Limited) | All Rights Reserved