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बहादुरी को सम्मान: जिस ASI का कटा था हाथ, पंजाब पुलिस के 80 हजार जवानों ने उनकी नेमप्लेट लगाई
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हरजीत सिंह पर पटियाला की सब्जी मंडी में 12 अप्रैल को कर्फ्यू का पालन कराने के लिए ड्यूटी पर तैनात थे। इसी दौरान कुछ विवाद होने के बाद हरजीत पर निहंग सिखों के एक दल ने हमला कर दिया था। इस दौरान उनका हाथ भी कट कर अलग हो गया था। हरजीत ने बहादुरी का परिचय देते हुए अपने हाथ को लेकर अस्पताल पहुंचे थे।
चंडीगढ़ पीजीआई के डॉक्टरों ने साढ़े सात घंटे का ऑपरेशन करके इसे फिर से जोड़ दिया था। अब हरजीत सिंह स्वस्थ्य हैं।
इस हादसे के बाद सोमवार को पंजाब पुलिस ने कोरोना वॉरियर्स के प्रति सम्मान दिखाने के लिए 'मैं भी हरजीत' कैंपेन चलाया है। इस कैंपेन के समर्थन में सभी अधिकारी हरजीत सिंह के नाम की नेमप्लेट पहने दिखे।
पंजाब डीजीपी दिनकर गुप्ता ने भी एक दिन के लिए हरजीत सिंह की नेमप्लेट पहनी। उन्होंने कहा, हरजीत सिंह हरजीत सिंह पुलिस और अन्य फ्रंटलाइन कार्यकर्ताओं पर हमलों के खिलाफ एक प्रतीक बन गए हैं।
दिनकर गुप्ता ने बताया, हरजीत सिंह को प्रोमोट कर ASI से सब-इंस्पेक्टर बना दिया गया है। उनके प्रति सम्मान दिखाने के लिए ये पंजाब पुलिस का एक छोटा सा प्रयास है।
हरजीत सिंह पटियाला के सदर पुलिस स्टेशन में तैनात हैं। 1989 में हरजीत ने पुलिस फोर्स जॉइन की थी। एक साल पहले ही वो एएसआई बने। वह अपनी पत्नी बलविंदर कौर, बेटा अर्शप्रीत के साथ पटियाला में ही रहता है।