2 महीने से एक बड़े पेंचीदा चक्रव्यूह में फंसी हुई थी 39 साल की यह हथिनी
मिलिए यह है बुजुर्ग लक्ष्मी। लक्ष्मी ऐसे लोगों के बीच फंसी हुई थी, जो उसे प्रताड़ित करते थे। उसके जरिये कमाई करते थे, लेकिन उसकी खान-पान और सेहत का कोई ख्याल नहीं रखते थे। भारी-भरकम डील-डौल की लक्ष्मी पिछले 2 महीने से इन लोगों के चंगुल में फंसी हुई थी। वन विभाग की टीम लगातार उसे ढूंढने में लगी हुई थी, लेकिन नाकाम साबित हो रही थी। आखिरकार कोर्ट की सख्ती के बाद पुलिस भी वन विभाग की टीम के साथ लक्ष्मी को खोजने जुट गई। तब कहीं जाकर लक्ष्मी को छुड़ाया जा सका। मंगलवार रात जब लक्ष्मी मिली, तो उसे देखकर दिल्ली वन विभाग की टीम की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। हालांकि उसे ट्रक में चढ़ाने टीम पसीना-पसीना हो गई।
| Published : Sep 18 2019, 07:01 PM IST
2 महीने से एक बड़े पेंचीदा चक्रव्यूह में फंसी हुई थी 39 साल की यह हथिनी
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जिला डीसीपी जसमीत सिंह के मुताबिक, जिला पुलिस उपायुक्त कार्यालय के पीछे जंगल में हथिनी का गोबर मिला था। इस सुराग के आधार पर पुलिस की टीम अक्षरधाम मंदिर के पीछे राष्ट्रमंडल खेल गांव के आसपास स्थित जंगलों की सर्चिंग करने पहुंची थी। लक्ष्मी को वहीं बांधकर रखा गया था। पुलिस को देखकर लक्ष्मी को बांधकर रखने वालों ने हमला किया। हालांकि बाद में अतिरिक्त पुलिस फोर्स बुलाकर हथिनी के मालिक युसूफ और महावत सद्दाम को पकड़ लिया गया।
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बताते हैं कि लक्ष्मी को पालने वाले बड़े शातिर थे। उन्हें पहले से ही खबर मिल जाती थी कि वन विभाग की टीम छापा मारने वाली है। वे रातों-रात लक्ष्मी को दूसरी जगह शिफ्ट कर देते थे। यहां तक कि वे वन विभाग की टीम पर हमला करने से भी नहीं डरते थे। इनके खिलाफ शकरपुर थाने में केस दर्ज कराया गया है।
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इस मामले में कोर्ट ने एक तय समयावधि में लक्ष्मी का रेस्क्यू करने का आदेश दिया था। उल्लेखनीय है कि दिल्ली में मौजूद 5-6 हाथी पहले ही रेस्क्यू किए जा चुके हैं। उन्हें गुजरात के संरक्षित इलाके में छोड़ा गया है। इससे पहले लक्ष्मी को ढूंढने वन विभाग की टीम गाजियाबाद और कुछ अन्य जगहों पर भी लगातार सर्चिंग कर रही थी।
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पुलिस की टीम लक्ष्मी को लेकर शकरपुर थाने पहुंची। इसके बाद वन विभाग की टीम को सूचना दी गई। यहां से लक्ष्मी को ट्रक में चढ़ाने में वन विभाग की टीम का पसीना छूट गया। लक्ष्मी काफी वजनी है।