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सांसें ऊपर-नीचे करने वाली तस्वीर, दोनों पैरों में फ्रैक्चर..मौत छोड़ने को राजी नहीं थी, महिला ने हार नहीं मानी
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कहते हैं कि जाको राखें साइयां मार सके न कोय! यह भयानक हादसा भी यही दिखाता है। बेकाबू हुआ एक गैस टैंकर कार पर पलट गया था। इस हादसे में दो लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी। वही, एक महिला टीचर पिचकी कार में फंस गई। वो हिलडुल तक नहीं पा रही थी। तमाम कोशिशों के बावजूद जब उसे बाहर नहीं निकाला आ सका, तो फिर जेसीबी मशीन बुलाई गई। इस पर भी कड़ी मशक्कत के बाद महिला को बाहर निकाला जा सका। घायल ज्योति ने बताया कि वे नकोदर स्थित अपने स्कूल की ब्रांच जा रही थीं।
गैस का टैंकर नकोदर की तरफ जा रहा था। तभी वो अनियंत्रित होकर कार पर जा गिरा। कार में डिप्स स्कूल की लेडी पीआरओ भी बैठी थीं। एक्सीडेंट में कार ड्राइवर और पीआरओ की मौत हो गई। वहीं, डिप्स स्कूल की प्रिंसिपल ज्योति कार में फंस गई। उन्हें बड़ी मुश्किल से जेसीबी की मदद से बाहर निकाला जा सका।
अस्पताल में भर्ती ज्योति को अभी तक नहीं मालूम कि उनके ड्राइवर अमित और स्कूल की पीआरओ शैली अब इस दुनिया में नहीं हैं। दरअसल, उन्हें अभी तक यह बताया नहीं गया है। ज्योति के दोनों पैरों में फ्रैक्चर है। उनका जालंधर के एक प्राइवेट हॉस्पिटल में इलाज चल रहा है।
ज्योति के मुताबिक, स्कूल की पीआरओ शैली एक्टिवा से जाती थीं। स्कूल दूर था, लिहाजा प्रिंसिपल ज्योति उन्हें अपनी कार में साथ लेकर जाने लगीं। लेकिन क्या मालूम था कि ऐसा भी कुछ हो जाएगा।
टैंकर ड्राइवर साइड पलटा था। इससे ड्राइवर अमित और ठीक उनके पीछे वाली सीट पर बैठी शैली बुरी तरह दब गए। उन्हें बचाया नहीं जा सका।
ज्योति के पैर टैंकर के नीचे दब गए थे। ज्योति ने बताया कि डिप्स स्कूल में करीब 18 साल से काम कर रही हैं। ढाई साल पहले उन्हें मेहतपुर ब्रांच में प्रिंसिपल बनाया गया था।
हादसे के बाद वहां मौजूद लोगों ने कार में फंसे तीनों लोगों को बाहर निकालने की कोशिश की। लेकिन असफल रहे। बाद में जेसीबी बुलानी पड़ी।