कोरोना वायरस और इस सांप का है गहरा संबंध, एक रिसर्च में सामने आई चौंकाने वाली बात
ब्राजील. कोरोना वायरस को लेकर कई स्टडी और रिसर्च की जा रही है। अभी वैक्सीन के अलावा कोई इलाज समझ नहीं आया है। ब्राजील के एक रिसर्चर ने बताया है कि एक तरह के सांप के जहर से कोरोना वायरस का मुकाबला किया जा सकता है। उसने बताया कि उसने बंदर पर एक प्रयोग किया। उसके अंदर कोरोना वायरस का लक्षण था। जब सांप के जहर को बंदर के अंदर डाला गया तो उसमें वायरस का फैलना रुक गया।
- FB
- TW
- Linkdin
साइंस मैग्जीन में पब्लिश हुई स्टडी
इस महीने साइंस मैग्जीन मोलेक्यूल्स में ये स्टडी प्रकाशित हुई है। स्टडी में पाया गया कि जराकुसु पिट वाइपर से बना मॉलिक्यूल को जब बंदर के अंदर डाला गया तो उसने वायरस की क्षमता को 75 प्रतिशत तक रोकने में मदद की।
साओ पाउलो विश्वविद्यालय के प्रोफेसर और राइटर राफेल गुइडो ने कहा, हम यह दिखाने में सक्षम थे कि सांप के जहर का यह मॉलिक्यूल वायरस से एक बहुत ही महत्वपूर्ण प्रोटीन को रोकने में सक्षम था।
मॉलिक्यूल एक पेप्टाइड या अमीनो एसिड की चेन है, जो PLPro नाम की कोरोनावायरस के एक एंजाइम से जुड़ सकता है। ये अन्य कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाए बिना वायरस को बढ़ने से रोकते हैं।
राफेल गुइडो ने कहा, हमें पहले से पता है कि इसमें एंटीबैटीरियल क्वालिटी है। हम इस सांप को बेवजह किसी को नहीं पकड़ने दे रहे हैं। ये दुनिया को बचाने में मदद कर सकते हैं।
स्टेट यूनिवर्सिटी ऑफ साओ पाउलो के एक बयान के मुताबिक, रिसर्चर्स मॉलिक्यूल की कई डोज की क्षमता का मूल्यांकन कर रहे हैं।
जरराकुसु ब्राजील के सबसे बड़े सांपों में से एक है, जिसकी लंबाई 6 फीट (2 मीटर) तक है। यह अटलांटिक के जंगलों में रहते हैं और बोलीविया, पराग्वे और अर्जेंटीना में भी पाए जाए हैं।