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नजर आ रहे हैं ये 5 लक्षण तो हो जाएं अलर्ट, क्योंकि यह है कोरोना का संकेत, ना समझें कोल्ड-फ्लू
नई दिल्ली । कोरोना वायरस का संक्रमण बढ़ता जा रहा है। ऐसे में हमें अलर्ट रहने के साथ-साथ उसके छोटे-छोटे लक्षणों को पकड़ना बहुत जरूरी हो गया है। कोरोना लक्षणों की शुरुआत में पहचान कर आप न सिर्फ गंभीर रूप से बीमार पड़ने से बच सकते हैं। ऐसे में हम आपसे कुछ जरूरी बातें साझा कर रहे हैं। जिसमें से एक भी लक्षण यदि शरीर में कोई भी लक्षण नजर आते ही घर के बाकी सदस्यों से खुद को दूर कर लें। करीब 2 सप्ताह तक लोगों के संपर्क में आने से बचें। मास्क अच्छी तरह से पहनें लगातार हैंड वॉश करते रहें और डॉक्टर्स की सलाह पर दवाओं का इस्तेमाल करें और सुरक्षित बने।
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कॉमन कोल्ड से ज्यादा खतरनाक है कोविड-19
कॉमन कोल्ड से ज्यादा खतरनाक कोविड-19 है। दोनों के ही वायरस अलग होते हैं और इनके लक्षण भी अलग हैं। लेकिन, कोविड-19, कॉमन कोल्ड की तुलना में ज्यादा दिन तक रह सकते हैं। मगर, दोनों ही हमारे अपर रेस्पिरेटरी ट्रैक्ट को प्रभावित करने वाले वायरस के संपर्क में आने से होते हैं। इनके वायरस छोटे-छोटे ड्रॉपलेट खांसते, छींकते या बोलते वक्त एक इंसान से दूसरे इंसान को संक्रमित करते हैं।
(प्रतीकात्कम फोटो)
कोरोना का कॉमन लक्षण
कोरोना वायरस का एक कॉमन लक्षण सूखी खांसी है। सूखी खांसी का मतलब है कि खांसते समय मरीज को बलगम की शिकायत न होना। खांसी में बलगम आने का मतलब मरीज को सूखी खांसी नहीं है। आमतौर पर ऐसी खांसी सिर्फ कोल्ड या फ्लू में ही देखी जाती है। हालांकि सूखी खांसी किसी एलेर्जी का संकेत भी हो सकती है। इसलिए कोविड-19 टेस्ट के बाद ही इस विषय में साफ तौर पर कुछ कहा जा सकता है।
(प्रतीकात्कम फोटो)
लगातार आ रही खांसी तो हो जाए सतर्क
अगर आपको खांसी लगातार हो रही है तो सतर्क हो जाना चाहिए, क्योंकि ये भी कोरोना वायरस संक्रमित होने की निशानी है। कोविड-19 में मरीज के गले से खांसने पर लगातार एक ही तरह साउंड निकलती है। इससे इंसान की आवाज पर भी थोड़ा प्रभाव पड़ता है। हालांकि ऐसा इसलिए होता है कि लगातार होने वाली खांसी से गले के एयरवेज प्रभावित होते हैं।
(प्रतीकात्कम फोटो)
सांस में तकलीफ होने पर रहे अलर्ट
खांसी और बुखार के साथ सांस में तकलीफ कोरोना वायरस संक्रमित होने का एक मजबूत संकेत है, क्योंकि लगातार खांसी से हमारे रेस्पिरेटरी ट्रैक्ट पर बहुत ज्यादा दबाव पड़ता है। ऐसी स्थित में इंसान हांफना शुरू कर देता है। अगर ऐसा है तो ये कोई सीजनल फ्लू नहीं बल्कि कोरोना वायरस है।
(प्रतीकात्कम फोटो)
गले में खराश होने पर हो जाए सीरियस
गले में खराश किसी नॉन सीरियस डिसीज या कोरोना वायरस दोनों ही कारणों से हो सकती है। बताते हैं कि ये एक बेहद असामान्य लक्षण है, जो मरीजों में अलग तरह से नजर आता है। क्योंकि, कोरोना वायरस नाक और गले की झिल्लियों में दाखिल होकर गले में सूजन और खराश की दिक्कत बढ़ाता है। अगर आपको सूखी खांसी, बुखार, थकावट के साथ गले में खराश भी है तो ये कोल्ड या फ्लू नहीं बल्कि कोरोना वायरस हो सकता है।
(प्रतीकात्कम फोटो)
लॉस ऑफ स्मैल
सर्दी और जुकाम होने पर भी नाक काम करना बंद कर देती है। लेकिन, अगर सूखी खांसी और बुखार के साथ आपके सूंघने की शक्ति भी प्रभावित हो रही है तो ये कोरोना वायरस का वॉर्निंग साइन है।
(प्रतीकात्कम फोटो)