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कोरोना के कहर में राहुल गांधी ने दी स्कूल खोलने की सलाह, ऑड-इवेन स्कीम पर भड़के लोग लेकिन सच कुछ और
नई दिल्ली. कोरोना महामारी से देश बेहाल है लगातार केस बढ़ते जा रहे हैं। लाखों की तादाद में मरीज हो गए हैं। इस बीच राज्य सरकारें लॉकडाउन खोलने को राजी नहीं दिख रही हैं। वहीं विपक्ष लगातार केंद्र सरकार को घेर रहा है। इस बीच सोशल मीडिया पर राहुल गांधी को लेकर एक खबर तेजी से वायरल हो रही है। एक ट्वीट का स्क्रीनशॉट कांग्रेस सांसद राहुल गांधी का बताकर वायरल हो रहा है जिसमें लिखा है कि सरकार को स्कूल खोल देने चाहिए। इस ट्वीट में दावा किया गया कि 1 जून से ऑड/इवेन तरीके से स्कूल खुलने चाहिए। लोग इस ट्वीट पर जहां राहुल गांधी को कोस रहे हैं वहीं अधिकतर लोग कोरोना के मामले बढ़ते देख इस आइडिये का मजाक भी उड़ा रहे हैं। वायरल होने के बाद हमने इस ट्वीट की जांच पड़ताल करके सच्चाई जानने की कोशिश की।
फैक्ट चेकिंग में हम बताएंगे कि क्या वाकई राहुल गांधी ने 1 जून से ऑड/इवेन तरीके से स्कूल खोलने (Rahul Gandhi Suggesting odd even method to reopen schools) की बात कही है या नहीं?
| Published : May 28 2020, 02:24 PM IST / Updated: May 29 2020, 10:30 AM IST
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कांग्रेस नेता राहुल गांधी लगातार चर्चा में हैं। वो सरकार से सवाल पूछते तो कभी कुछ सुझाव देते नजर आ रहे हैं। जैसा कि बुधवार को गांधी ने कोरोना वायरस के मसले पर दुनिया के दो बड़े एक्सपर्ट से बात की थी। इस दौरान कोरोना वायरस के असर, लॉकडाउन से पहुंची चोट पर भी चर्चा हुई। इसी चर्चा के दौरान राहुल गांधी ने हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर आशीष झा से पूछा कि वैक्सीन कब आएगी? उन्होंने अगले साल तक आने का आश्वासन दिया। इस बीच राहुल गांधी को लेकर स्कूल खोलने की सलाह भी वायरल हो रही है।
वायरल पोस्ट क्या है?
ट्वीट में लिखा है, “स्कूल और कॉलेज 1 जून से ऑड/इवेन तरीके से खुलने चाहिए. ऑड दिनों में टीचर्स को आना चाहिए और इवेन दिनों में स्टूडेंट्स को आना चाहिए.” इसके मुताबिक़ राहुल गांधी की सलाह दी है कि ऑड/इवेन मेथड पर स्कूल फिर से खोले जाएं और इसका मज़ाक बनाते हुए अगली लाइन में बताया गया है कि टीचर्स और स्टूडेंट्स अलग-अलग दिनों में स्कूल आएं.
क्या दावा किया जा रहा है?
यह स्टेटमेंट अपने आप में एक मज़ाक है जिसे कुछ यूज़र्स ने गांधी का मज़ाक उड़ाने के लिए इस्तेमाल किया है। यूजर्स का दावा है कि गांधी ने लॉकडाउन में स्कूल खोलने की सलाह दी है।
सच क्या है?
ट्विटर पर कीवर्ड सर्च करने पर ऑल्ट न्यूज़ ने पाया कि राहुल गांधी की तरफ़ से ऐसा कोई ट्वीट नहीं किया गया है। न ही कोई मीडिया रिपोर्ट सामने आई जिसमें यह दावा किया गया हो कि उन्होंने यह ट्वीट किया है। गांधी की राजनैतिक सक्रियता को देखते हुए ऐसा नहीं हो सकता कि ऐसा कोई ट्वीट लोगों की नज़र में न आए।
हालांकि इस ट्वीट को फ़ेक साबित करने वाली सबसे ख़ास बात ये है कि इसमें टेक्स्ट और प्रोफ़ाइल पिक्चर वहां नहीं हैं जहां होना चाहिए। ये फॉटोशॉप ट्वीट मालूम पड़ता है जो किसी ट्रोलर ने बनाया है। वहीं 12 मई को पोस्ट किया गया एक ट्वीट मिला जिसमें इस मेसेज को एक जोक की तरह लिखा गया था। जब मेसेज सोशल मीडिया पर वायरल होने शुरू हुआ तब इससे राहुल गांधी को नहीं जोड़ा गया था। साफ है कि इसी जोक को राहुल गांधी के ट्वीट से जोड़कर वायरल कर दिया गया।
ये निकला नतीजा
यानी कांग्रेस नेता राहुल गांधी का मज़ाक उड़ाने के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स और मेसेजिंग एप्लिकेशंस पर ये फ़ेक ट्वीट वायरल किया जा रहा है। इससे पहले भी एक मॉर्फ्ड ट्वीट अमित शाह के नाम से वायरल किया गया था कि उन्होंने कहा है उन्हें बोन कैंसर है। लॉकडाउन के बीच फेक खबरें काफी वायरल हो रही हैं।