सार
बीते 22 सितंबर को एनआईए व ईडी ने देश के 15 राज्यों में एक साथ रेड किया था। पीएफआई के 93 ठिकानों पर किए गए रेड में काफी लोगों को अरेस्ट किया गया था। इस रेड में ईडी ने कोझिकोड से PFI वर्कर शफीक पायथे को गिरफ्तार किया था। ईडी ने बताया कि पीएफआई ने पटना में 12 जुलाई को पीएम मोदी की रैली में हमला की साजिश रची थी, इसकी फंडिंग में शफीक पायथे भी था।
ED raid on PFI: ईडी ने ऑपरेशन ऑक्टोपस का पूरा डिटेल कोर्ट के सामने रखा है। प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि पीएफआई ने पीएम मोदी की 12 जुलाई की बिहार रैली में हमले की साजिश रची थी। केरल में इसकी साजिश रची गई थी और हमले के लिए बाकायदा ट्रेनिंग कैंप लगाया गया था। केंद्रीय एजेंसी के अनुसार पीएफआई के साजिशकर्ता यह चाहते थे कि अक्टूबर 2013 की घटना की पुनरावृत्ति हो। दरअसल, 2013 में पटना के गांधी मैदान में बीजेपी के तत्कालीन मुख्यमंत्री गुजरात नरेंद्र मोदी की रैली में सिलसिलेवार बम ब्लास्ट हुए थे।
ईडी-एनआईए ने पीएफआई के फंडर शफीक पायथे को किया अरेस्ट
बीते 22 सितंबर को एनआईए व ईडी ने देश के 15 राज्यों में एक साथ रेड किया था। पीएफआई के 93 ठिकानों पर किए गए रेड में काफी लोगों को अरेस्ट किया गया था। इस रेड में ईडी ने कोझिकोड से PFI वर्कर शफीक पायथे को गिरफ्तार किया था। ईडी ने बताया कि पीएफआई ने पटना में 12 जुलाई को पीएम मोदी की रैली में हमला की साजिश रची थी, इसकी फंडिंग में शफीक पायथे भी था।
बुधवार-गुरुवार को बड़ी कार्रवाई, सौ से अधिक गिरफ्तारियां
एनआईए-ईडी की बुधवार-गुरुवार को 15 राज्यों में पीएफआई के 93 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी की गई थी। NIA और ED की यह कार्रवाई उत्तर प्रदेश, केरल, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, तमिलनाडु, असम, महाराष्ट्र, बिहार, पश्चिम बंगाल, मध्यप्रदेश, पुडुचेरी और राजस्थान में की गई। इस कार्रवाई में देशभर से 106 से अधिक पीएफआई सदस्यों को गिरफ्तार किया गया था। सबसे ज्यादा लोग केरल से गिरफ्तार किया गया। महाराष्ट्र और कर्नाटक से 20-20, तमिलनाडु से 10, असम से 9, उत्तर प्रदेश से 8, आंध्र प्रदेश से 5, मध्य प्रदेश से 4, पुडुचेरी और दिल्ली से 3-3 और राजस्थान से 2 लोगों को गिरफ्तार किया गया।
क्या है आरोप?
दरअसल, पीएफआई पर देशविरोधी गतिविधियों के संचालन का आरोप है। पीएम मोदी की रैली में हमला करने के अलावा देश को अस्थिर करने की साजिश रचने का भी खुलासा ईडी व एनआईए ने किया है। केंद्रीय जांच एजेंसियों के अनुसार पीएफआई पिछले कई महीनों से बड़े स्तर पर ट्रेनिंग कैंप लगाकर युवाओं को देश विरोधी गतिविधियों में शामिल कर रही है। आरोप है कि पीएफआई मुस्लिम बहुल इलाकों में लड़कों का ब्रेनवॉश करना, मार्शल आर्ट के जरिए नए लड़कों को आतंक की ट्रेनिंग, कुंगफू और कराटे सिखाकर आतंकियों को तैयार करना, कश्मीर मॉडल के तहत लड़कों को पत्थर चलाने की ट्रेनिंग देना जैसे कामों में शामिल हैं। जुलाई 2022 में पटना के पास फुलवारी शरीफ में मिले आतंकी मॉड्यूल को लेकर भी छापेमारी की गई। फुलवारी शरीफ में PFI के सदस्यों के पास से इंडिया 2047 नाम का 7 पेज का एक डॉक्यूमेंट मिला था। इसमें अगले 25 साल में भारत को मुस्लिम राष्ट्र बनाने की पूरी प्लानिंग थी।