सार
संयुक्त राष्ट्र संघ में पाकिस्तान का झूठ एक बार फिर बेनकाब हुई है। दरअसल पाकिस्तान ने दावा किया था कि जम्मू कश्मीर के पास एलओसी पर संयुक्त राष्ट्र के काफिले पर भारतीय सेना ने फायरिंग की थी। वहीं, यूएन ने कहा, संयुक्त राष्ट्र के वाहन को अज्ञात लोगों ने निशाना बनाया।
नई दिल्ली. संयुक्त राष्ट्र संघ में पाकिस्तान का झूठ एक बार फिर बेनकाब हुई है। दरअसल पाकिस्तान ने दावा किया था कि जम्मू कश्मीर के पास एलओसी पर संयुक्त राष्ट्र के काफिले पर भारतीय सेना ने फायरिंग की थी। वहीं, यूएन ने कहा, संयुक्त राष्ट्र के वाहन को अज्ञात लोगों ने निशाना बनाया।
पाकिस्तानी सेना ने आरोप लगाया था कि भारतीय सेना ने संयुक्त राष्ट्र के पर्यवेक्षकों को निशाना बनाया था। इसे लेकर जब WION चैनल ने जब सवाल पूछा तो संयुक्त राष्ट्र महासचिव के उप प्रवक्ता फरहान हक ने कहा, संयुक्त राष्ट्र के सैन्य पर्यवेक्षक दल युद्धविराम उल्लंघन के आरोपों की जांच और रिपोर्ट के लिए रावलकोट के पास रुटीन निगरानी मिशन पर थे, इसी दौरान सैन्य पर्यवेक्षक दल के काफिले पर अज्ञात लोगों ने हमला किया।
पाकिस्तान के झूठ की खुली पोल
सैन्य पर्यवेक्षक दल का ये बयान पाकिस्तान के बड़े झटके की तरह है जो उसके झूठ की भी पोल खोलने वाला है। फरहान ने कहा, सैन्य पर्यवेक्षक दल के कर्मियों और ड्राइवर को हमले में कोई नुकसान नहीं हुआ है, ना ही वाहन को कोई नुकसान पहुंच है। इस मामले की जांच की जा रही है। उन्होंने कहा, हम जानते हैं कि दोनों पक्ष क्या कह रहे हैं, लेकिन इस स्तर पर हम ये कहना चाहेंगे कि पर्यवेक्षकों के वाहन किसी अज्ञात वस्तु से टकराया था।
भारत ने किया था खंडन
पाकिस्तानी मीडिया ने विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जहीद हफीज चौधरी के हवाले से दावा किया था कि भारतीय सैनिकों ने चिरिकोट सेक्टर में फायरिंग की। इसमें संयुक्त राष्ट्र की गाड़ी को भी नुकसान पहुंचा है। जबकि अधिकारी सुरक्षित हैं। वहीं, इन खबरों पर भारतीय सेना ने पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में संयुक्त राष्ट्र के अधिकारियों की गाड़ी पर किसी तरह का हमला करने से खंडन किया है।