सार

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन ने कोरोना को लेकर बड़ी खुशखबरी दी है। उन्होंने कहा, स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन कहा कि जनवरी में हम इस स्थिति में होंगे कि भारत में कोरोना वैक्सीन का पहला शॉट दे सकें। राज्य सरकारों के साथ केंद्र सरकार पिछले 4 महीनों से राज्य, जिला और ब्लॉक स्तरों पर तैयारी कर रही है। हमने राज्य, जिला और ब्लॉक स्तरों पर टास्क फोर्स का गठन किया है। देश भर में हजारों मास्टर ट्रेनर प्रशिक्षित किए गए हैं। हमने राज्य स्तर पर प्रशिक्षण आयोजित किया है और लगभग 260 जिलों में 20,000 से अधिक कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित किया है।

नई दिल्ली. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन ने कोरोना को लेकर बड़ी खुशखबरी दी है। उन्होंने कहा, स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन कहा कि जनवरी में हम इस स्थिति में होंगे कि भारत में कोरोना वैक्सीन का पहला शॉट दे सकें। राज्य सरकारों के साथ केंद्र सरकार पिछले 4 महीनों से राज्य, जिला और ब्लॉक स्तरों पर तैयारी कर रही है। हमने राज्य, जिला और ब्लॉक स्तरों पर टास्क फोर्स का गठन किया है। देश भर में हजारों मास्टर ट्रेनर प्रशिक्षित किए गए हैं। हमने राज्य स्तर पर प्रशिक्षण आयोजित किया है और लगभग 260 जिलों में 20,000 से अधिक कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित किया है।

स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन से पूछा गया कि क्या COVID को पोलियो की तरह मिटाया जा सकता है? उन्होंने कहा, पोलियो और COVID-19 दो अलग-अलग बीमारियां हैं। पोलियो उन्मूलन के लिए वैज्ञानिक रूप से संभव था। आखिरकार कोरोनावायरस भी कम हो जाएगा और हम इसकी छिटपुट घटनाओं के बारे में सुनेंगे। 

उन्होंने कहा, विशेषज्ञों के परामर्श के बाद हमने COVID वैक्सीन के लिए 30 करोड़ लोगों को प्राथमिकता दी है। इसमें स्वास्थ्य कार्यकर्ता, पुलिस, सैन्य और स्वच्छता कर्मचारी, 50 साल से ऊपर के लोग शामिल हैं।

"अब जल्द ही तकलीफों को खत्म कर देंगे"
डॉक्टर हर्षवर्धन ने कहा, मुझे लगता है कि जितनी तकलीफों से हम गुजरे हैं अब वो खत्म होने की दिशा में आगे बढ़ रही हैं। इतना बड़ा देश होते हुए दुनिया के दूसरे बड़े देशों के मुकाबले भारत बेहतर स्थिति में है। 

"हमारा रिकवरी रेट दुनिया में सबसे ज्यादा"
उन्होंने कहा, कुछ ​महीनों पहले देश में कोरोना वायरस के 10 लाख सक्रिय मामले थे, अभी देश में करीब 3 लाख सक्रिय मामले हैं। कोरोना वायरस के एक करोड़ मामलों में से 95 लाख से ज़्यादा मामले ठीक हो चुके हैं। हमारा रिकवरी रेट दुनिया में सबसे ज़्यादा है।