सार

महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर एनसीपी चीफ शरद पवार ने सोनिया गांधी से मुलाकात की। कयास लगाए जा रहे हैं कि शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी मिलकर सरकार बना सकती हैं। लेकिन इस बीच जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख अरशद मदनी ने सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखने की फेक खबर आई। 

नई दिल्ली. महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर एनसीपी चीफ शरद पवार ने सोनिया गांधी से मुलाकात की। कयास लगाए जा रहे हैं कि शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी मिलकर सरकार बना सकती हैं। लेकिन इस बीच एक खबर आई कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख अरशद मदनी ने सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखी। दावा किया गया कि चिट्ठी में लिखा है कि "मैं महाराष्ट्र की गंदी राजनीति की तरफ आपका ध्यान ले जाना चाहता हूं और यह दुर्भाग्यपूर्ण होगा कि आप शिवसेना को समर्थन देंगी। यह कांग्रेस पार्टी के लिए खतरनाक और नुकसानदेह होगा। मुझे उम्मीद है कि मेरी सलाह को अच्छी भावना में लेंगी।" चिट्टी की फोटो भी वायरल हुई। लेकिन बाद में जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने कहा है कि उसने शिवसेना के साथ मिलकर महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर कांग्रेस अध्‍यक्ष सोनिया गांधी को कोई पत्र नहीं लिखा है। जमीयत ने कहा कि वह इस पूरे मामले की जांच कर रहा है।

दिल्ली में शरद पवार ने सोनिया गांधी से मुलाकात की
एनसीपी चीफ शरद पवार और सोनिया गांधी के बीच करीब 50 मिनट तक बातचीत हुई। हालांकि, बैठक में सरकार गठन को लेकर कोई निर्णय नहीं लिया जा सका। जिसके बाद अगली मुलाकात में दोनों नेता सरकार गठन को लेकर निर्णय ले सकते हैं। 

मुलाकात के बाद शरद पवार ने क्या कहा?
सोनिया गांधी से मुलाकात के बाद एनसीपी नेता शरद पवार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। उन्होंने कहा कि सोनिया गांधी से महाराष्ट्र सरकार गठन पर चर्चा हुई। जो कुछ स्थिति है उसके बारे में मैंने ब्रीफ देने का काम किया है। इसके बाद कुछ मुद्दों पर बात हुई मगर इस परिस्थिति पर हम ध्यान देंगे। दोनों पार्टियों के सीनियर नेताओं की राय क्या है, उसके आधार पर हम आगे की रूपरेखा तैयार करेंगे।

शरद पवार की इन तीन बातों ने चौंकाया

1- सरकार बनाने के शिवसेना नेता संजय राउत के दावों पर एनसीपी चीफ शरद पवार का बयान, 'आप उनसे जाकर पूछिए, हमारी उनके साथ इस मुद्दे पर कोई बात नहीं हुई।'

2-  उन्होंने कहा, साझा न्यूनतम कार्यक्रम पर कोई बात ही नहीं हुई है। कांग्रेस, एनसीपी और शिवसेना के नेताओं के बीच सामान्य मुलाकात हुई थी। 

3- सोनिया गांधी से मुलाकात के कयास लगाए जा रहे थे कि महाराष्ट्र सरकार गठन पर कोई रास्ता निकलेगा, लेकिन पवार ने कहा कि उनसे सरकार गठन पर कोई बात नहीं हुई।