सार
केंद्र सरकार ने पश्चिम बंगाल में कोरोना वायरस में लॉकडाउन के उल्लंघन पर आपत्ति जताई है। गृह मंत्रालय ने कहा कि पुलिस धार्मिक जमावड़ा होने दे रही है और जहां पर जरूरी नहीं है वह दुकाने भी खुली हैं।
नई दिल्ली. केंद्र सरकार ने पश्चिम बंगाल में कोरोना वायरस में लॉकडाउन के उल्लंघन पर आपत्ति जताई है। गृह मंत्रालय ने कहा कि पुलिस धार्मिक जमावड़ा होने दे रही है और जहां पर जरूरी नहीं है वह दुकाने भी खुली हैं। इससे कोरोना का संक्रमण और फैलेगा। सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं हो रहा है।
अधिकारी की बजाय नेता बांट रहे हैं राशन
प्रदेश के मुख्य सचिव और डीजीपी को लिखे पत्र में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा, अधिकारियों के बजाय नेता राशन बांट रहे हैं। पत्र में लिखा गया है कि पश्चिम बंगाल में सब्जी, मछली और मांस बाजारों पर रोक नहीं लगाई गई है और इन जगहों पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं हो रहा है।
पश्चिम बंगाल में लॉकडाउन का असर कम हो रहा है
गृह मंत्रालय ने पत्र में लिखा, सुरक्षा एजेंसियों से मिल रहीं रिपोर्ट्स के मुताबिक पश्चिम बंगाल में लॉकडाउन का असर धीरे-धीरे घट रहा है। राज्य सरकार की तरफ से दी जा रहीं छूट का दायरा बढ़ता ही जा रहा है।
30 अप्रैल तक बढ़ा लॉकडाउन
पश्चिम बंगाल सरकार ने शनिवार को लॉकडाउन 30 अप्रैल तक बढ़ाने की घोषणा की। वहीं, महाराष्ट्र, पंजाब और ओडिशा पहले ही यह फैसला कर चुके हैं।
पीएम ने मुख्यमंत्रियों से की बात
देश में लॉकडाउन को बढ़ाने को लेकर पीएम मोदी ने राज्य के मुख्यमंत्रियों से बात की। मीटिंग के बाद अभी लॉकडाउन के बढ़ाने या न बढ़ाने का ऐलान नहीं किया गया है, लेकिन दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर जानकारी दी कि देश में लॉकडाउन बढ़ाया जाएगा। उन्होंने लिखा, पीएम मोदी का लॉकडाउन बढ़ाने का फैसला बिल्कुल सही है। भारत आज किसी और देश से बेहतर स्थिति में है, क्योंकि हमने देश में पहले लॉकडाउन लागू कर दिया था, अगर लॉकडाउन अब खत्म कर दिया जाता तो सारा काम बेकार हो जाता।
पीएम मोदी ने कहा, जान है तो जहान है
मुख्यमंत्रियों से बात करते हुए पीएम मोदी ने कहा, पीएम मोदी ने कहा, जान है तो जहान है, ,जब मैंने राष्ट्र के नाम सन्देश दिया था तो प्रारम्भ में बल दिया था कि हर नागरिक की जान बचाने के लिए लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंशिंग का पालन बहुत आवश्यक है। देश के अधिकतर लोगों ने बात को समझा और घरों में रहकर दायित्व निभाया। अब भारत के उज्जवल भविष्य के लिए समृद्ध और स्वस्थ भारत के लिए जान भी जहान भी दोनों पहलुओं पर ध्यान आवश्यक है। देश का प्रत्येक व्यक्ति जान भी और जहान भी, दोनों की चिंता करते हुए अपने दायित्व निभाएगा। सरकार और प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करेगा।