सार
कोरोना काल और लॉकडाउन का सीधा असर गरीबों और प्रवासी मजदूरों पर पड़ा। काम बंद हो जाने के कारण पैसों की तंगी की वजह से उन्हें अपने घर वापसी करनी पड़ी। इस दौरान वो अपने घर पैदल ही जाने को मजबूर हुए।
नई दिल्ली. कोरोना काल और लॉकडाउन का सीधा असर गरीबों और प्रवासी मजदूरों पर पड़ा। काम बंद हो जाने के कारण पैसों की तंगी की वजह से उन्हें अपने घर वापसी करनी पड़ी। इस दौरान वो अपने घर पैदल ही जाने को मजबूर हुए। घर को लौटे मजूदरों के लिए रोजगार का संकट है। इस माहौल में पीएम नरेंद्र मोदी 20 जून, शनिवार को एक योजना लॉन्च 'गरीब कल्याण रोजगार अभियान' कर रहे हैं, जिसके तहत अब प्रवासियों को घर बैठे ही रोजगार मिल सकेगा।
गांवों ने शहर को सिखाया कोरोना से लड़ना
कोरोना से लड़ाई को लेकर पीएम मोदी बोले, 'जब कोरोना महामारी का संकट बढ़ना शुरू हुआ तो आप सभी लोग राज्य और केंद्र सरकार की चिंताओं में बने हुए थे। हमने अपने श्रमिक भाई बहनों के लिए स्पेशल ट्रेन भी चलाईं। कोरोना का इतना बड़ा संकट, जिसके कारण दुनिया सहम गई, लेकिन आप डटकर ठहर गए। भारत के गांवों ने कोरोना का जिस तरह मुकाबला किया है उसने शहरों को भी सबक दिया है। कोरोना संक्रमण को आप सब ग्रामवासियों ने बहुत ही प्रभावी तरीके से रोका है। गांवों की जनसंख्या 80-85 करोड़ हैं, जो पूरे यूरोप, अमेरिका, रूस और ऑस्ट्रेलिया से ज्यादा है। इस जनसंख्या का कोरोना से मुकाबला करना बहुत बड़ी बात है। पंचायत तक हमारी लोकतांत्रिक व्यवस्थाएं, चिकित्सा सुविधाएं, वेलनेस सेंटर स्वच्छता अभियान की अहम भूमिका रही है।'
पीएम मोदी ने बिहार रेजिमेंट की तारीफ की
योजना की लॉन्चिंग के दौरान पीएम मोदी ने गलवान घाटी में शहीद हुए 20 जवानों को याद किया और बिहारे के पराक्रम की चर्चा करते हुए उसकी तारीफ भी की। उन्होंने कहा, 'आज जब मैं बिहार के लोगों से बात कर रहा हूं तो मैं गौरव के साथ इस बात का ज़िक्र करना चाहूंगा कि बिहार रेजिमेंट ने पराक्रम दिखाया है हर बिहारी को इस पर गर्व है। जिन वीरों ने बलिदान दिया है उनके प्रति श्रद्धा सुमन अर्पित करता हूं।'
नीतिश कुमार ने जीएसटी में छूट देने की मांग की
पीएम मोदी के साथ हुई बातचीत में बिहार के सीएम नीतीश कुमार पीएम मोदी से जीएसटी में छूट की मांग की। उन्होंने कहा, 'गरीब कल्याण योजना से काफी लोगों को लाभ मिलेगा, जीएसटी में छूट दी जाए। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने गरीब कल्याण योजना के जरिए लोगों की मदद का प्रयास किया है यह सराहनीय है।'
बिहार में लॉन्च हो रही ये योजना
पीएम मोदी 'गरीब कल्याण रोजगार अभियान' नाम की इस योजना को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बिहार में लॉन्च कर रहे हैं। इस योजना के डिजिटल शुभारंभ में पांच अन्य राज्यों के मुख्यमंत्री और कुछ केंद्रीय मंत्री भी हिस्सा लेंगे।
116 जिलों में लॉन्च हो रही है योजना
बिहार, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, झारखंड और ओडिशा के कुल 116 जिलों के 25,000 से अधिक प्रवासी मजूदरों को इस अभियान के लिए चुना गया है, जिसमें 27 आकांक्षी जिले शामिल हैं। इन जिलों के ऐसे करीब दो तिहाई प्रवासी मजदूरों को शामिल करने का अनुमान है। छह राज्यों के 116 जिलों के गांव कोविड-19 वैश्विक महामारी के मद्देनजर सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करते हुए साझा सेवा केंद्रों और कृषि विज्ञान केंद्रों के जरिए इस कार्यक्रम में शामिल होंगे।
125 दिन मिलेगा रोजगार
यह अभियान 125 दिनों का है, जिसमें प्रवासी मजदूरों को रोजगार मुहैया कराने और देश के ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचा खड़ा करने के लिए 25 अलग तरह के कार्यों पर ध्यान केंद्रित किया गया है। इस योजना का समन्वय 12 अलग-अलग मंत्रालय करेंगे।
इन 25 कामों पर रहेगा ध्यान
– सामुदायिक स्वच्छता परिसर
– ग्राम पंचायत भवन
– फाइनेंस कमिशन फंड के तहत किए जाने वाले काम
– राष्ट्रीय राजमार्ग के काम
– जल संरक्षण एवं जल संचयन के काम
– कुओं का निर्माण
– पैधारोपण के काम
– बागवानी के काम
– आंगनवाड़ी केंद्र के काम
– प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के काम
– ग्रामीण सड़क एवं सीमा सड़क के काम
– भारतीय रेल के तहत आने वाले काम
– श्यामा प्रसाद मुखर्जी अरबन मिशन
– भारत नेट के तहत फाइबर ऑप्टिकल केबल बिछाने का काम
– पीएम कुसुम योजना के काम
– जल जीवन मिशन के तहत कराए जाने वाले काम
– प्रधानमंत्री ऊर्जा गंगा प्रोजेक्ट
– कृषि विज्ञान केंद्र के तह जीवनयापन की ट्रेनिंग
– जिला खनिज निधि के तहत आने वाले काम-सॉलिड एवं लिक्विड वेस्ट मैनेजमैंट के काम
– फार्म पोंड योजना के काम
– पशु शेड बनाने का काम
– भेड़/बकरी के लिए शेड बनवाने का काम
– मुर्गी पालन के लिए शेड निर्माण
– केंचुआ खाद यूनिट तैयार कराना