सार
रंधावा 2002, 2007 और 2017 में विधायक निर्वाचित हुए हैं। वह राज्य कांग्रेस के उपाध्यक्ष और एक जनरल सेक्रेटरी के पद पर रह चुके हैं। उनके पिता संतोख सिंह दो बार राज्य कांग्रेस अध्यक्ष थे और माझा क्षेत्र में मशहूर शख्सियत भी।
चंडीगढ़. कैप्टन अमरिंदर सिंह के इस्तीफे के बाद 62 साल के सुखजिंदर सिंह रंधावा पंजाब के नए सीएम हो सकते हैं। सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस हाईकमान ने सुखजिंदर सिंह रंधावा के नाम पर मुहर लगा दी है। इससे पहले सुनील जाखड़ का नाम शामिल था लेकिन कांग्रेस विधायकों की मांग थी कि पंजाब में एक सिख नेता को ही मुख्यमंत्री बनाया जाए। 62 साल के सुखजिंदर सिंह रंधावा, कैप्टन अमरिंदर सिंह की कैबिनेट में जेल और सहकारिता मंत्री थे। कांग्रेस के ऑब्जर्वर अजय माकन, हरीश चौधरी और पंजाब कांग्रेस के प्रभारी हरीश रावत ने सभी विधायकों का फीडबैक लेकर केन्द्रीय नेतृत्व को भेजा था।
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तीन बार के विधायक
रंधावा 2002, 2007 और 2017 में विधायक निर्वाचित हुए हैं। वह राज्य कांग्रेस के उपाध्यक्ष और एक जनरल सेक्रेटरी के पद पर रह चुके हैं। उनके पिता संतोख सिंह दो बार राज्य कांग्रेस अध्यक्ष थे और माझा क्षेत्र में मशहूर शख्सियत भी। सुखजिंदर सिंह रंधावा डेरा बाबा नानक सीट से विधायक हैं और कैप्टन कैबिनेट में मंत्री भी थे।
बादल परिवार के खिलाफ
सुखजिंदर सिंह रंधावा, बादल परिवार के ख़िलाफ़ बहुत आक्रामक रहे हैं। इनसे पहले अंबिका सोनी का नाम भी CM पद की प्रमुख दावेदार के तौर पर सामने आया था, लेकिन उन्होंने खुद ही ऑफर ठुकरा दिया था।
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कैप्टन अमरिंदर सिंह के करीबी
सुखजिंदर सिंह रंधावा को कैप्टन अमरिंदर सिंह का करीबी माना जाता था। लेकिन बाद में नवजोत सिंह सिद्धू के सुर में सुर मिलाते हुए उन्होंने चुनावी वादों को पूरा ना कर पाने का आरोप लगाते हुए कैप्टन अमरिंदर सिंह के ख़िलाफ़ खुला विद्रोह भी किया।