सार

केंद्र सरकार ने 1 जुलाई से सिंगल यूज प्लास्टिक(Single Use Plastic Ban) पूरी तरह से बैन कर दिया है। अब जो भी इसके प्रॉडक्ट्स बनाएगा या बेचेगा, उसे जेल जाना पड़ेगा। आम नागरिकों को भी इस दिशा में अवेयर हो जाना चाहिए। बता दें कि सिंगल यूज प्लास्टिक वो चीजें हैं, जिनका इस्तेमाल सिर्फ एक होता है। उदाहरण के तौर पर प्लास्टिक फ्लैग, ईयरबड्स की स्टिक आदि।

नई दिल्ली. पर्यावरण संरक्षण(Environment protection) की दिशा में केंद्र सरकार ने एक बड़े फैसले को 1 जुलाई, 2022 से लागू कर दिया है। केंद्र सरकार ने सिंगल यूज प्लास्टिक(Single Use Plastic Ban) पूरी तरह से बैन कर दिया है। अब जो भी इसके प्रॉडक्ट्स बनाएगा या बेचेगा, उसे जेल जाना पड़ेगा। पर्यावरण एक्ट की धारा-15 के तहत 7 साल की जेल और 1 लाख तक का जुर्माना हो सकता है। आम नागरिकों को भी इस दिशा में अवेयर हो जाना चाहिए। बता दें कि सिंगल यूज प्लास्टिक वो चीजें हैं, जिनका इस्तेमाल सिर्फ एक होता है। उदाहरण के तौर पर प्लास्टिक फ्लैग, ईयरबड्स की स्टिक आदि।

बहुत जरूरी था सिंगल यूज प्लास्टिक पर बैन करना
सिर्फ भारत ही नहीं, दुनियाभर में सिंगल यूज प्लास्टिक पॉल्युशन एक बड़ा कारण रहा है। केंद्र सरकार के आंकड़े बताते हैं कि भारत में 2018-19 में 30.59 लाख टन और 2019-20 में 34 लाख टन से ज्यादा सिंगल यूज प्लास्टिक कचरा निकला था। सिंगल यूज प्लास्टिक के प्रॉडक्ट्स न तो डीकंपोज(नष्ट) होते हैं और न ही इनको जलाकर नष्ट किया जा सकता है। अगर हम इन्हें जलाएंगे, तो इससे जहरीला धुआं निकलेगा, जो घातक है। इसलिए सिंगल यूज प्लास्टिक के प्रॉडक्ट्स को रिसाइक्लिंग के अलावा स्टोर करके रखना ही एक तरीका रहा है।

सरकार सिंगल यूज प्लास्टिक की जगह ईकोफ्रेंडली प्रॉडक्ट्स पर जोर दे रही है। जैसे- सिंगल यूज प्लास्टिक के स्ट्रा की जगह पेपर स्ट्रा। प्लास्टिक स्टिक की जगह बांस से बनी ईयर बड्स स्टिक, बांस से निर्मित आइसक्रीम स्टिक, प्लास्टिक के बजाय कागज और कपड़े से बने झंडे, मिट्टी के बर्तन आदि।

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सिंगल यूज प्लास्टिक खुले में पड़े रहने से सड़ने आदि पर जहरीली गैसों का रिसाव करते हैं। एक आंकड़े के अनुसार, दुनियाभर में हर मिनट पर 10 लाख प्लास्टिक बोतल या बैग का इस्तेमाल होता है। संयुक्त राष्ट्र(United Nations) के मुताबिक, दुनियाभर में 80 देशों ने सिंगल यूज प्लास्टिक के प्रॉडक्ट्स पर आंशिक या पूरी तरह से बैन लगा रखा है। अफ्रीका के 30 देशों में यह पूरी तरह बैन है। यूरोप में सिंगल यूज प्लास्टिक बैग पर अलग से चार्ज लगता है। डेवलप कंट्रीज सिंगल यूज प्लास्टिक बैग्स के कुछ आइटम्स पर बैन लगाकर प्लास्टिक वेस्ट के मैनेजमेंट की दिशा में लगातार काम कर रही हैं।


भारत में नॉर्वे के मिशन की उप प्रमुख और मंत्री सलाहकार मार्टीन आमदल बोथीम ने दिल्ली में कहा-मैं भारत को, PM मोदी को सिंगल यूज प्लास्टिक आइटम्स पर बैन के लिए बधाई देती हूं। इससे ऐसे प्लास्टिक में कमी आएगी जिसे समुद्र में फेंक दिया जाता है। हमने फैसला किया है कि आज से यहां दूतावास परिसर में सिंगल यूज प्लास्टिक का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा। इसमें कुछ ऐसा सामान भी शामिल है जो भारत की सिंगल यूज प्लास्टिक की सूची में नहीं है जैसे- प्लास्टिक बोतल।

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